राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी का स्थापना दिवस: शरद पवार और अजित पवार ने अलग-अलग मनाया, विभाजन पर शरद पवार का बयान

10 जून को राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) अपने स्थापना दिवस का जश्न मना रही है। इस खास मौके पर पार्टी के वरिष्ठ नेता शरद पवार और अजित पवार ने अपने-अपने गुटों के साथ अलग-अलग समारोहों का आयोजन किया। दोनों नेताओं के बीच पार्टी में हुए विभाजन के बाद यह पहली बार है जब दोनों गुटों ने इस दिन को अलग-अलग मनाया, जिससे राजनीतिक हलकों में चर्चा का विषय बना है।
शरद पवार का बयान: कभी नहीं सोचा था पार्टी में विभाजन होगा
पार्टी के स्थापना दिवस पर शरद पवार ने पार्टी में हालिया विभाजन को लेकर अपनी भावनाएं व्यक्त की। उन्होंने कहा, "कभी नहीं सोचा था कि एनसीपी में विभाजन होगा। यह घटना दुखद और अप्रत्याशित थी, लेकिन राजनीति में कभी कुछ भी हो सकता है।" शरद पवार ने इस दौरान अपनी पार्टी की मजबूती और भविष्य के लिए अपने गुट की प्रतिबद्धता का भी जिक्र किया।
पार्टी में हालिया संकट ने शरद पवार और उनके भतीजे अजित पवार के बीच मतभेदों को और गहरा कर दिया है। अजित पवार ने पार्टी के कुछ विधायकों के साथ शरद पवार से अलग होकर भारतीय जनता पार्टी (भा.ज.पा.) के साथ गठबंधन किया था, जिसे लेकर महाराष्ट्र की राजनीति में बड़ा हंगामा हुआ था।
अजित पवार का गुट: नए रास्ते पर पार्टी के लिए संघर्ष
वहीं, अजित पवार ने भी अलग से स्थापना दिवस कार्यक्रम आयोजित किया। उन्होंने अपने गुट को लेकर कहा कि उनका उद्देश्य पार्टी को एक नई दिशा में लेकर जाना है। अजित पवार ने शरद पवार से अपने राजनीतिक विचारों में भिन्नता जताते हुए कहा कि महाराष्ट्र की जनता की सेवा के लिए उन्हें जो सही रास्ता लगेगा, वही अपनाया जाएगा।
हालांकि, अजित पवार और शरद पवार के बीच विभाजन ने एनसीपी को दो हिस्सों में बांट दिया है, लेकिन दोनों गुटों ने अपने-अपने नेताओं की ओर से पार्टी के स्थापना दिवस को एक ऐतिहासिक दिन के रूप में मनाया।
एनसीपी का भविष्य: राजनीतिक विश्लेषकों की राय
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि एनसीपी का विभाजन पार्टी के लिए एक बड़ा झटका साबित हो सकता है। शरद पवार और अजित पवार दोनों ही पार्टी के ताकतवर नेता हैं, और उनके नेतृत्व में पार्टी को जो दिशा मिल रही थी, वह अब दो हिस्सों में बंट गई है। हालांकि, शरद पवार का गुट अब भी ज्यादा मजबूत नजर आ रहा है, लेकिन अजित पवार के गुट में भी कई पुराने और वरिष्ठ नेताओं का समर्थन है, जो भविष्य में पार्टी की दिशा तय कर सकते हैं।