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हर इजरायली ठिकाना करेंगे खाक...जानें क्या है सेजिल-2, जिसे ईरान समझ रहा ब्रह्मास्त्र, आखिर क्यों जंग में कूदने से पहले US ने पीछे खींचे पैर

ईरान और इजराइल के बीच युद्ध और भी बदतर होता जा रहा है। युद्ध के सातवें दिन ईरान ने इजराइल पर बड़ा हमला किया। इसके लिए ईरान ने अपनी सबसे खतरनाक बैलिस्टिक मिसाइल सेजिल-2 का इस्तेमाल किया है। इस मिसाइल का इस्तेमाल करके ईरान ने...
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ईरान और इजराइल के बीच युद्ध और भी बदतर होता जा रहा है। युद्ध के सातवें दिन ईरान ने इजराइल पर बड़ा हमला किया। इसके लिए ईरान ने अपनी सबसे खतरनाक बैलिस्टिक मिसाइल सेजिल-2 का इस्तेमाल किया है। इस मिसाइल का इस्तेमाल करके ईरान ने दक्षिणी इजराइल के बीरशेबा में सोरोका अस्पताल को भी भारी नुकसान पहुंचाया है। हमले में ईरान ने इजराइल की राजधानी तेल अवीव के पास कम से कम दो जगहों पर एक ऊंची इमारत और कई अन्य आवासीय इमारतों को निशाना बनाने के लिए दो अन्य मिसाइलों का इस्तेमाल किया।

दूसरी ओर इजराइल ने इस्लामिक रिपब्लिक के अराक परमाणु रिएक्टर और नतांज के पास परमाणु हथियार विकास सुविधा सहित अन्य साइटों को निशाना बनाया है। इस बीच, भारत में ईरान के दूतावास ने सोशल मीडिया एक्स पर एक पोस्ट में कहा, "ऑपरेशन 'ट्रू प्रॉमिस 3' की बारहवीं लहर ईरान के सबसे सटीक और शक्तिशाली रणनीतिक हथियारों में से एक सेजिल मिसाइलों के प्रक्षेपण के साथ शुरू हुई है। वे महत्वपूर्ण दुश्मन लक्ष्यों को भेदने और नष्ट करने में सक्षम हैं।"

सेजिल-2 मिसाइलें क्या हैं?

यह ईरान का स्वदेशी हथियार है, जो मध्यम दूरी की बैलिस्टिक मिसाइल (MRBM) है। ईरानी दूतावास के अनुसार, सेजिल एक बहुत भारी, लंबी दूरी की, दो चरणों वाली, ठोस ईंधन वाली मिसाइल है। यह 2000 से 2500 किलोमीटर तक लंबी दूरी के लक्ष्यों को भेदने में सक्षम है। ठोस ईंधन से चलने के कारण इसे तेजी से लॉन्च करने के लिए तैयार किया जा सकता है। इससे दुश्मन को भागने का समय नहीं मिलता और पलटवार करना मुश्किल हो सकता है। ईरान के पीपुल्स मोजाहिदीन संगठन (PMOI/MEK) द्वारा ईरान के अंदर से प्राप्त जानकारी के अनुसार, "सेजिल 2" मिसाइल एक परमाणु वारहेड ले जा सकती है। इस मिसाइल की रेंज शहाब-3 से भी ज्यादा है और यह 2500 किलोमीटर तक के लक्ष्यों को भेद सकती है।

सेजिल की खासियत क्या है?

CSIS के अनुसार, सेजिल की लंबाई 18 मीटर, व्यास 1.25 मीटर और लॉन्च वजन 23,600 किलोग्राम है। यह करीब 700 किलोग्राम का पेलोड ले जाने में सक्षम है। इस मिसाइल का पहली बार परीक्षण 2008 में किया गया था। 2012 के बाद से इसका परीक्षण नहीं किया गया है। हालांकि, तेहरान ने सेजिल सिस्टम के कई मिसाइल वेरिएंट विकसित किए हैं। 2009 में, इसने एक नए प्रकार की मिसाइल, सेजिल-2 का परीक्षण किया, जिसे ईरान ब्रह्मास्त्र मानता है। एक अपुष्ट रिपोर्ट में कहा गया है कि ईरान ने "सेजिल 3" मिसाइल भी विकसित की है। ईरान ने पहली बार इस मिसाइल को इजरायल के खिलाफ लॉन्च किया है।

अमेरिका चिंतित क्यों है?

सेजिल-2 मिसाइल की 2,000 किलोमीटर की रेंज का मतलब है कि यह इजरायल सहित पूरे मध्य पूर्व में लक्ष्यों को भेदने में सक्षम है। इसके अलावा, सेजल मिसाइल ईरान से सीधे यूरोप और एशिया के कुछ हिस्सों में लक्ष्यों तक भी पहुंच सकती है। चूंकि मध्य पूर्व में अधिकांश अमेरिकी सैन्य ठिकाने तेहरान से 2000 किलोमीटर के दायरे में स्थित हैं, इसलिए अमेरिका को इस बात की गहरी चिंता है कि अगर वाशिंगटन ईरान के खिलाफ युद्ध करता है, तो तेहरान सेजिल-2 मिसाइलों से इराक, सीरिया और अरब देशों में उनके सैन्य ठिकानों को निशाना बना सकता है। इसके अलावा अरब सागर में अमेरिकी नौसेना के बेस को भी निशाना बनाया जा सकता है।

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