कम बजट में हिल स्टेशन का मजा! राजस्थान के माउंट आबू में सिर्फ ₹3000 में घूमिए कश्मीर-शिमला जैसी वादियां, वीडियो में जाने पूरी डिटेल

गर्मियों का मौसम शुरू होते ही देश के पहाड़ी क्षेत्रों में सैलानियों की भीड़ उमड़ने लगती है। लोग अपने परिवार या दोस्तों के साथ कश्मीर, शिमला, मनाली या उत्तराखंड के किसी ठंडे हिल स्टेशन पर जाने का प्लान बनाते हैं। लेकिन सफर लंबा, खर्चा ज्यादा और भीड़ के चलते यह ट्रिप महंगा और थकाऊ हो जाता है। ऐसे में अगर आप कम बजट में ठंडी और खूबसूरत जगह घूमना चाहते हैं, तो आपके लिए राजस्थान का एकमात्र हिल स्टेशन – माउंट आबू एक बेहतरीन विकल्प है।
माउंट आबू: रेगिस्तान में बसा एक हरा-भरा हिल स्टेशन
राजस्थान को गर्म और रेगिस्तानी राज्य के रूप में जाना जाता है, लेकिन इसी राज्य के सिरोही जिले में बसा माउंट आबू, अरावली पर्वतमाला में स्थित एक अनोखा ठंडा हिल स्टेशन है। समुद्र तल से लगभग 1,220 मीटर की ऊंचाई पर स्थित माउंट आबू राजस्थान और गुजरात के पर्यटकों के लिए स्वर्ग जैसा अनुभव देता है। यहां की हरियाली, झीलें, बादलों से ढकी चोटियां और ठंडी हवाएं किसी भी बड़े हिल स्टेशन को टक्कर देती हैं।
कम बजट में बड़ा मजा: सिर्फ ₹3,000 से ₹5,000 में घूम सकते हैं माउंट आबू
आज जब कश्मीर या शिमला जैसे स्थलों पर 15 से 25 हजार का खर्च सामान्य हो चुका है, वहीं माउंट आबू आपको सिर्फ ₹3,000 से ₹5,000 में यादगार ट्रिप का अनुभव दे सकता है। इसमें शामिल हैं:
बस/ट्रेन किराया: राजस्थान, गुजरात, और मध्यप्रदेश से सीधी बसें और ट्रेनें उपलब्ध हैं। जयपुर, उदयपुर, अहमदाबाद से माउंट आबू तक आने-जाने का किराया ₹500 से ₹1500 के बीच होता है।
बजट होटल/गेस्ट हाउस: ₹600 से ₹1000 प्रति रात में अच्छे और साफ-सुथरे गेस्ट हाउस मिल जाते हैं।
स्थानीय खाना: ₹100-150 प्रति व्यक्ति में स्वादिष्ट राजस्थानी और गुजराती खाना।
लोकल साइटसीइंग: स्थानीय टैक्सी, ऑटो या बाइक रेंट करके कम खर्च में पूरा माउंट आबू घूम सकते हैं।
माउंट आबू में घूमने लायक प्रमुख स्थान
नक्की झील (Nakki Lake)
पहाड़ों के बीच स्थित यह झील माउंट आबू की जान मानी जाती है। यहां बोटिंग करते हुए पहाड़ों का अद्भुत नज़ारा देखने को मिलता है।
दिलवाड़ा जैन मंदिर (Dilwara Jain Temples)
संगमरमर से बना यह मंदिर नक्काशी और वास्तुकला का अद्भुत नमूना है। यह मंदिर 11वीं से 13वीं शताब्दी के बीच बना था।
हनीमून पॉइंट और सनसेट पॉइंट
सूर्यास्त के समय यहां से बादलों और पहाड़ों के बीच डूबते सूरज का दृश्य बेहद मनमोहक होता है।
गुरु शिखर (Guru Shikhar)
अरावली पर्वतमाला की सबसे ऊंची चोटी, जहां से चारों ओर का दृश्य अद्भुत नजर आता है।
टॉड रॉक, पीस पार्क और माउंट आबू वाइल्डलाइफ सेंचुरी
प्रकृति प्रेमियों और एडवेंचर पसंद करने वालों के लिए ये स्थान काफी रोमांचक हैं।
कैंपिंग और ट्रेकिंग का भी मजा
माउंट आबू केवल एक फैमिली डेस्टिनेशन नहीं है, बल्कि एडवेंचर लवर्स के लिए भी किसी जन्नत से कम नहीं। आप यहां ट्रेकिंग ट्रेल्स पर जा सकते हैं, जंगल कैंपिंग कर सकते हैं और रात को तारों के नीचे रहने का अनोखा अनुभव ले सकते हैं।
कैसे पहुंचें माउंट आबू?
ट्रेन: माउंट आबू रोड रेलवे स्टेशन यहां से मात्र 28 किलोमीटर दूर है। स्टेशन से टैक्सी या बस लेकर आसानी से माउंट आबू पहुंचा जा सकता है।
बस: राजस्थान रोडवेज और गुजरात रोडवेज की नियमित बसें उपलब्ध हैं। जयपुर, उदयपुर, अहमदाबाद, जोधपुर, और दिल्ली से सीधी बसें चलती हैं।
प्राइवेट व्हीकल से: हाईवे की स्थिति अच्छी है, जिससे रोड ट्रिप करना आसान और रोमांचक बनता है।
किस समय जाएं?
अप्रैल से जून: गर्मियों में यहां का तापमान 15 से 25 डिग्री सेल्सियस तक रहता है, जो रेगिस्तान की झुलसाने वाली गर्मी से राहत देता है।
नवंबर से फरवरी: सर्दियों में माउंट आबू और भी शांत और ठंडा हो जाता है। यह समय कपल्स और हनीमून ट्रैवलर्स के लिए खास रहता है।
क्यों माउंट आबू ही चुनें?
कम खर्च में प्राकृतिक सुंदरता, ठंडा मौसम और पहाड़ों का सुकून।
भीड़-भाड़ से दूर, शांति और स्वच्छता भरा वातावरण।
परिवार, कपल, दोस्तों या सोलो ट्रिप – सभी के लिए उपयुक्त।
राजस्थान की संस्कृति और गुजरात का खानपान – दोनों का मेल।
निष्कर्ष
तो अगली बार जब आपको पहाड़ों की सैर करनी हो और बजट भी सीमित हो, तो कश्मीर या शिमला की टिकट बुक करने से पहले माउंट आबू जरूर याद रखें। यहां न सिर्फ जेब पर बोझ नहीं पड़ेगा, बल्कि दिल को सुकून देने वाला एक यादगार अनुभव भी मिलेगा। राजस्थान का ये हिल स्टेशन कम चर्चित जरूर है, पर खूबसूरती और ठंडक के मामले में किसी से कम नहीं।