उत्तराखंड में 12 जिलों में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव शांतिपूर्वक और सफलतापूर्वक संपन्न हो गए हैं। निर्वाचन आयोग ने चुनाव प्रक्रिया के पूरी तरह से निष्पक्ष और शांतिपूर्ण तरीके से संपन्न होने के बाद सभी जिलों में लागू की गई आचार संहिता को निष्प्रभावी कर दिया है।
चुनावों के दौरान सुरक्षा व्यवस्था और प्रशासनिक समन्वय में कोई बड़ी बाधा सामने नहीं आई, जिससे यह चुनाव एक बड़े प्रशासनिक सफलता के रूप में उभरा। पंचायत चुनावों में राज्य के विभिन्न गांवों और कस्बों के लोग अपने प्रतिनिधियों का चुनाव करने के लिए बड़ी संख्या में मतदान करने पहुंचे।
आचार संहिता की समाप्ति के साथ ही अब चुनाव परिणाम की प्रक्रिया भी तेज हो गई है और जिला निर्वाचन अधिकारी सभी मतगणना और परिणाम की तैयारियों में जुट गए हैं। चुनाव में किसी भी प्रकार की हिंसा या विवाद की कोई बड़ी घटना नहीं घटी, जिससे मतदान प्रक्रिया की निष्पक्षता को लेकर विश्वास और भी मजबूत हुआ है।
आचार संहिता समाप्त होने के बाद, राज्य सरकार अब आगामी विकास कार्यों की शुरुआत करने के लिए तैयार है, जिनका निर्धारण नए निर्वाचित पंचायत प्रतिनिधियों द्वारा किया जाएगा। पंचायत चुनावों के परिणाम न केवल स्थानीय स्तर पर राजनीतिक व्यवस्था को पुनर्स्थापित करेंगे, बल्कि राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में विकास कार्यों में भी तेजी लाने की उम्मीद है। यह चुनाव राज्य में लोकतांत्रिक प्रक्रिया को सुदृढ़ करने में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हुए हैं और इससे स्थानीय प्रशासन में जनभागीदारी को बढ़ावा मिलेगा।

