खीर गंगा आपदा के सात दिन बाद भी चुनौती बरकरार, गंगोत्री धाम, हर्षिल और धराली जिले मुख्यालय से कटे हुए
5 अगस्त को खीर गंगा में आई भयंकर तबाही के सात दिन बीत जाने के बाद भी स्थिति जस की तस बनी हुई है। गंगोत्री धाम, हर्षिल और धराली के ग्रामीण इलाकों के लोग अभी तक जिला मुख्यालय से संपर्क और सड़क मार्ग से कटे हुए हैं।
संचार व्यवस्था और जलस्तर बने सबसे बड़े बाधक
राहत और बचाव कार्य जारी हैं, लेकिन लगातार बढ़ते जलस्तर के कारण कई जगह रास्ते बंद हैं। इसके अलावा, संचार व्यवस्था भी चरमरा रही है, जिससे प्रभावित इलाकों से सही स्थिति का पता लगाना मुश्किल हो रहा है।
कई लोगों का अभी भी पता नहीं
आपदा की गंभीरता को देखते हुए अभी भी कई लोग लापता हैं और उनके परिवारों को उनकी खबर मिलने का इंतजार है। प्रशासन लगातार खोज और बचाव अभियान चला रहा है, लेकिन भौगोलिक और मौसम संबंधी चुनौतियां इस कार्य को कठिन बना रही हैं।
राहत कार्यों में बाधाएं
बार-बार बढ़ता जलस्तर और खराब संचार व्यवस्था राहत कार्यों को प्रभावित कर रही है। स्थानीय प्रशासन और राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन टीम द्वारा लगातार प्रयास किए जा रहे हैं, लेकिन प्राकृतिक बाधाओं के कारण गति धीमी हो रही है।
सरकार और प्रशासन की प्रतिक्रिया
सरकार ने प्रभावित इलाकों में तत्काल राहत सामग्री भेजी है और प्रभावित परिवारों के लिए आश्रय व्यवस्था की गई है। इसके साथ ही पुनर्वास के लिए योजनाएं भी बन रही हैं, लेकिन रास्तों के बंद होने से उनकी पहुंच में देरी हो रही है।
स्थानीय लोगों की दिक्कतें
स्थानीय लोग खाने-पीने के सामान, दवाइयों और मेडिकल सुविधाओं की कमी से जूझ रहे हैं। पानी और बिजली जैसी बुनियादी सेवाएं भी प्रभावित हैं, जिससे हालात और गंभीर हो गए हैं।

