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आखिर क्यों मेरठ बनता जा रहा है 'एनकाउंटर कैपिटल'? UP Police का रिकॉर्ड आया सामने, जानें पूरा मामला

अपराध और अपराधियों के प्रति जीरो टॉलरेंस की नीति के तहत पुलिस की कार्रवाई जारी है। कुख्यातों से निपटने में पुलिस पीछे नहीं रही है। मुजफ्फरनगर में मुख्तार अंसारी (अब दिवंगत) गिरोह के सक्रिय सदस्य शाहरुख पठान और पुलिस के बीच हुई मुठभेड़ इसी...
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अपराध और अपराधियों के प्रति जीरो टॉलरेंस की नीति के तहत पुलिस की कार्रवाई जारी है। कुख्यातों से निपटने में पुलिस पीछे नहीं रही है। मुजफ्फरनगर में मुख्तार अंसारी (अब दिवंगत) गिरोह के सक्रिय सदस्य शाहरुख पठान और पुलिस के बीच हुई मुठभेड़ इसी कड़ी का हिस्सा है। आठ सालों में पुलिस मुठभेड़ों में 239 अपराधी मारे जा चुके हैं। इनमें मेरठ जोन में 81 बदमाश मारे गए। पुलिस मुठभेड़ के कई मामलों को लेकर सवाल भी उठे और पुलिस को जांच का सामना भी करना पड़ा। कई मामले अभी भी जांच के दायरे में हैं।

पुलिस कार्रवाई को लेकर विपक्षी दलों ने भी कई बार सरकार को घेरने की कोशिश की। आरोप-प्रत्यारोप के बीच प्रदेश में अपराधियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा रही है।

जोन/कमिश्नरेट पुलिस मुठभेड़ की संख्या मारे गए अपराधी घायल अपराधी
आगरा 2,309 20 731
प्रयागराज 517 10 271
बरेली 1,986 15 921
गोरखपुर 611 8 459
कानपुर 669 11 357
लखनऊ 799 15 651
मेरठ 4,247 81 2,911
वाराणसी 1,052 26 620
लखनऊ कमिश्नरेट 130 11 101
गौतमबुद्धनगर कमिश्नरेट 1,060 9 1,180
वाराणसी कमिश्नरेट 121 7 41
कानपुर कमिश्नरेट 228 4 238
आगरा कमिश्नरेट 431 7 218
गाजियाबाद कमिश्नरेट 687 10 686
प्रयागराज कमिश्नरेट 127 5 72

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश के सूचीबद्ध माफियाओं और अपराधियों के खिलाफ अभियान के तहत कार्रवाई के निर्देश दिए थे। 20 मार्च 2017 से अब तक विभिन्न जिलों में स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) और पुलिस की कार्रवाई में 9,467 अपराधी घायल भी हुए हैं। 14,973 पुलिस मुठभेड़ों में 30,694 अपराधियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया।

अब तक बदमाशों के खिलाफ लड़ाई में 18 पुलिस अधिकारी और कर्मी शहीद हो चुके हैं। जबकि 1,711 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं। पुलिस ने इनामी बदमाशों के साथ तीन खालिस्तानी आतंकवादियों को भी पुलिस मुठभेड़ में मार गिराया। इनमें हत्या, लूट, डकैती और बलात्कार जैसे कई गंभीर अपराधों के आरोपी शामिल हैं।

पुलिस कार्रवाई के आंकड़ों पर गौर करें तो सबसे ज्यादा 4,247 मुठभेड़ें भी मेरठ जोन में हुईं। इनमें 2,911 अपराधी पुलिस की गोली लगने से घायल हुए। जबकि बदमाशों की गोली से दो पुलिसकर्मी शहीद और 454 घायल हुए।

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