लखनऊ से प्रयागराज जा रही एसी जनरथ बस में किन्नरों का उत्पात, यात्रियों से मारपीट और गालीगलौज
लखनऊ से प्रयागराज जा रही एक एसी जनरथ बस में बृहस्पतिवार को सफर कर रहे यात्रियों को उस समय भारी परेशानी का सामना करना पड़ा जब कुछ किन्नरों ने बस में जमकर हंगामा किया। घटना के दौरान यात्रियों से मारपीट, गालीगलौज और बस को जबरन रुकवाने की जानकारी सामने आई है। इस घटना से यात्रियों में दहशत फैल गई और परिवहन विभाग की सुरक्षा व्यवस्था पर भी सवाल खड़े हो गए हैं।
प्राप्त जानकारी के अनुसार, जनरथ बस जैसे ही लखनऊ से प्रयागराज के लिए रवाना हुई, कुछ दूरी तय करने के बाद कुछ किन्नर बस में चढ़े और यात्रियों से जबरन पैसे मांगने लगे। जब यात्रियों ने विरोध किया तो किन्नरों ने अभद्र भाषा का प्रयोग किया और मारपीट शुरू कर दी।
बस रुकवाकर यात्रियों को उतारा
मामला तब और बढ़ गया जब किन्नरों ने चालक और परिचालक को धमकाते हुए बस को बीच रास्ते में रुकवा दिया। इसके बाद उन्होंने यात्रियों को जबरन बस से नीचे उतरवा दिया। इस दौरान अफरा-तफरी का माहौल बन गया। महिलाएं और बच्चे भयभीत हो उठे और कई यात्री बस से नीचे उतरकर इधर-उधर भागने लगे।
चालक-परिचालक ने थाने में दी तहरीर
घटना के बाद जनरथ बस के चालक और परिचालक ने आलमबाग थाने में जाकर पूरे मामले की जानकारी दी और एफआईआर के लिए तहरीर सौंप दी है। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है और आरोपियों की पहचान की जा रही है।
यात्रियों को भेजा गया दूसरी बस से
उपद्रव के चलते बस सेवा बाधित हो गई। यात्रियों को काफी देर तक सड़क पर इंतजार करना पड़ा। बाद में परिवहन विभाग की ओर से एक अन्य बस की व्यवस्था की गई, जिससे यात्रियों को प्रयागराज भेजा गया।
सुरक्षा व्यवस्था पर उठे सवाल
इस घटना ने एक बार फिर लंबी दूरी की सरकारी बसों में सुरक्षा व्यवस्था को लेकर चिंता बढ़ा दी है। यात्रियों का कहना है कि बस में कोई सुरक्षा गार्ड नहीं था, और न ही ऐसी स्थिति से निपटने के लिए चालक-परिचालक को कोई प्रशिक्षण दिया गया है।
प्रशासन की प्रतिक्रिया
पुलिस अधिकारियों ने बताया कि आरोप गंभीर हैं और जल्द ही दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। साथ ही बसों में सुरक्षा बढ़ाने और यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए अतिरिक्त उपायों पर भी विचार किया जा रहा है।
यह घटना एक स्पष्ट संकेत है कि सार्वजनिक परिवहन में सुरक्षा व्यवस्था को और मजबूत करने की आवश्यकता है, ताकि इस तरह की घटनाओं से यात्रियों को सुरक्षित रखा जा सके।

