रोजा जलालपुर में शव यात्रा को गंदे पानी से गुजरना पड़ा, ग्रामीण बोले कब होगा समस्या का समाधान
उत्तर प्रदेश के ग्रेटर नोएडा वेस्ट स्थित रोजा जलालपुर गांव से एक चौंकाने वाला वीडियो सामने आया है, जो इन दिनों सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। वायरल वीडियो में देखा जा सकता है कि श्मशान घाट जाने वाली शव यात्रा को गांव के गंदे पानी में होकर गुजरना पड़ा। यह वीडियो न केवल स्थानीय व्यवस्था पर सवाल उठाता है बल्कि आम लोगों की मूलभूत सुविधाओं की अनदेखी को भी उजागर करता है।
वीडियो में ग्रामीणों को एक शव को अंतिम संस्कार के लिए ले जाते हुए देखा जा सकता है, लेकिन श्मशान घाट तक जाने वाला रास्ता पूरी तरह जलमग्न है। शव यात्रा को गंदे पानी से होकर निकलना पड़ा, जिससे ग्रामीणों में आक्रोश फैल गया है।
गांव में नहीं है जल निकासी की व्यवस्था
स्थानीय लोगों ने बताया कि गांव में जल निकासी की कोई ठोस व्यवस्था नहीं है। हल्की बारिश के बाद भी सड़कें और रास्ते जलमग्न हो जाते हैं, लेकिन इस बार हालात और भी बदतर हो गए हैं। श्मशान घाट जाने वाला मुख्य मार्ग भी पूरी तरह पानी में डूब चुका है, जिससे शव यात्रा जैसी गंभीर प्रक्रिया भी बाधित हो गई।
गांववासियों ने यह भी बताया कि उन्होंने कई बार ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण से शिकायत की है, लेकिन अब तक कोई समाधान नहीं निकाला गया। यह पहली बार नहीं है जब इस तरह की स्थिति बनी है — बारिश के मौसम में यह समस्या हर साल सामने आती है।
प्राधिकरण पर लगाए गए आरोप
रोजा जलालपुर के लोगों ने ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण पर लापरवाही का आरोप लगाया है। उनका कहना है कि गांव में विकास के नाम पर केवल दिखावे के काम हुए हैं, जबकि वास्तविक जरूरतों की अनदेखी की जा रही है।
एक ग्रामीण ने कहा, “हमारे गांव में सड़कें टूटी हुई हैं, जल निकासी की कोई व्यवस्था नहीं है। अब तो शव यात्रा तक गंदे पानी में से निकालनी पड़ रही है। इससे ज्यादा शर्मनाक और क्या हो सकता है?”
सोशल मीडिया पर उठी आवाज
जैसे ही यह वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ, लोगों की प्रतिक्रियाएं भी सामने आने लगीं। कई यूजर्स ने इसे प्रशासनिक विफलता बताया और तत्काल कार्रवाई की मांग की। कुछ लोगों ने ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण और स्थानीय प्रशासन को टैग करते हुए लिखा कि यह हाल स्मार्ट सिटी के दावों की पोल खोलता है।
प्रशासन की प्रतिक्रिया का इंतजार
इस पूरे मामले को लेकर अभी तक ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है। हालांकि, ग्रामीणों का कहना है कि अगर जल्द ही उचित जल निकासी की व्यवस्था नहीं की गई तो वे विकास प्राधिकरण के खिलाफ प्रदर्शन करने को मजबूर होंगे।

