आजम खां की पत्नी तजीन फात्मा का भावुक बयान: "अब किसी से कोई उम्मीद नहीं, सिर्फ अल्लाह पर भरोसा" – सपा से नाराजगी के संकेत?

समाजवादी पार्टी (सपा) के कद्दावर नेता और राष्ट्रीय महासचिव आजम खां भले ही जेल में बंद हों, लेकिन उनकी राजनीतिक हैसियत और पारिवारिक संघर्ष लगातार चर्चा में बना हुआ है। अब एक बार फिर सियासी गलियारों में हलचल उस समय तेज हो गई जब उनकी पत्नी और पूर्व सांसद तजीन फात्मा ने सीतापुर जेल में मुलाकात के बाद गहरे दर्द और नाराजगी भरे शब्दों में कहा:
"अब किसी से कोई उम्मीद नहीं है, सिर्फ अल्लाह पर भरोसा है।"
बयान के सियासी मायने
तजीन फात्मा के इस भावुक बयान को समाजवादी पार्टी के प्रति नाराजगी के तौर पर देखा जा रहा है। राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि यह सिर्फ व्यक्तिगत पीड़ा नहीं, बल्कि एक बड़ा राजनीतिक संकेत भी हो सकता है।
आजम खां को पार्टी का मुस्लिम चेहरा और संघर्षशील नेता माना जाता है, लेकिन जबसे वह कानूनी मामलों में उलझे हैं, पार्टी नेतृत्व द्वारा दिखाई गई दूरी को लेकर सवाल उठते रहे हैं।
परिवार में गहराती मायूसी?
आजम खां का परिवार बीते कुछ वर्षों से लगातार कानूनी लड़ाइयों में उलझा है। खुद तजीन फात्मा और उनके बेटे अब्दुल्ला आजम पर भी मुकदमे दर्ज हुए हैं और जेल जाना पड़ा है।
तजीन का यह बयान यह संकेत देता है कि शायद अब परिवार पार्टी से समर्थन की उम्मीद छोड़ चुका है, और उन्हें लग रहा है कि इस संकट की घड़ी में वे अकेले हैं।
सपा नेतृत्व की चुप्पी पर उठते सवाल
अब तक समाजवादी पार्टी की ओर से इस बयान पर कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है। लेकिन यह सवाल जरूर उठ रहा है कि क्या पार्टी ने अपने सबसे पुराने और निष्ठावान नेता के साथ न्याय किया?
राजनीतिक जानकारों का मानना है कि अगर पार्टी इस असंतोष को नजरअंदाज करती रही तो यह मुस्लिम वोट बैंक और कार्यकर्ताओं में गलत संदेश दे सकता है।
क्या आजम खां परिवार सपा से दूरी बना रहा है?
इस बयान के बाद यह अटकलें भी तेज हो गई हैं कि कहीं आजम खां और उनका परिवार समाजवादी पार्टी से पूरी तरह अलग होने की तैयारी तो नहीं कर रहा। हाल के दिनों में आजम खां और सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव के बीच भी संवाद बेहद सीमित रहा है।