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राजस्थान के 22 जिलों में जारी हुआ जानलेवा लू का रेड अलर्ट, वीडियो में देखें कौन-कोनसे शहर में मंडरा रही मौत 

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राजस्थान में गर्मी ने एक बार फिर से अपने तीखे तेवर दिखाने शुरू कर दिए हैं। अप्रैल महीने की शुरुआत से ही तापमान में लगातार बढ़ोतरी हो रही है और अब हालात ऐसे हैं कि राज्य के अधिकांश हिस्से लू की चपेट में आ गए हैं। भीषण गर्मी के इस दौर को देखते हुए भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD), जयपुर ने मंगलवार को राज्य के कई जिलों में लू को लेकर रेड अलर्ट जारी किया है।

राज्य के बीकानेर, बाड़मेर, जैसलमेर, नागौर, चुरू, श्रीगंगानगर और हनुमानगढ़ जैसे पश्चिमी जिलों में तापमान 44 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया है। दोपहर के समय गर्म हवाएं चलने से लोगों का घर से बाहर निकलना मुश्किल हो गया है। गर्मी की यह लहर अब पूर्वी राजस्थान की ओर भी बढ़ रही है, जिससे जयपुर, अलवर, भरतपुर और कोटा जैसे इलाकों में भी तापमान में तेजी से इजाफा देखने को मिल रहा है।

मौसम विभाग के अनुसार, प्रदेश में आने वाले दो दिनों तक लू की स्थिति बनी रह सकती है। राजस्थान में लगातार बढ़ते तापमान और शुष्क हवाओं के कारण लू की स्थिति गंभीर हो गई है। विशेषज्ञों ने लोगों को दोपहर 12 बजे से शाम 4 बजे के बीच घर से बाहर न निकलने की सलाह दी है। साथ ही बच्चों और बुजुर्गों को विशेष सावधानी बरतने की हिदायत दी गई है।

मौसम विभाग, जयपुर के निदेशक राधेश्याम शर्मा ने बताया कि पश्चिमी राजस्थान के कुछ जिलों में लू की स्थिति और भी भयावह हो सकती है। इन इलाकों में अधिकतम तापमान 45 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच सकता है, जो सामान्य से 5 डिग्री अधिक है। उन्होंने कहा कि आने वाले 48 घंटे लोगों के लिए अत्यंत सावधानी बरतने वाले होंगे।

हालांकि राहत की खबर यह है कि भारत मौसम विज्ञान विभाग ने 19 अप्रैल से 21 अप्रैल के बीच तापमान में कुछ गिरावट की संभावना जताई है। विभाग का कहना है कि पश्चिमी विक्षोभ के प्रभाव से हवाओं की दिशा में बदलाव हो सकता है, जिससे तापमान में 2 से 3 डिग्री की गिरावट आ सकती है। इससे प्रदेश के कुछ हिस्सों में लू से आंशिक राहत मिलने की उम्मीद है।

राज्य सरकार ने भीषण गर्मी के चलते सभी जिलों को अलर्ट मोड पर रखा है। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग ने अस्पतालों को गर्मी से संबंधित बीमारियों जैसे डिहाइड्रेशन, हीट स्ट्रोक आदि से निपटने के लिए तैयार रहने के निर्देश दिए हैं। साथ ही जलदाय विभाग को पेयजल आपूर्ति बनाए रखने की जिम्मेदारी दी गई है।

इस बीच आम जनता से भी अपील की जा रही है कि वे अपनी सुरक्षा के लिए पर्याप्त मात्रा में पानी पीते रहें, ढीले और हल्के रंग के कपड़े पहनें, और अत्यधिक गर्मी के समय में अनावश्यक रूप से घर से बाहर निकलने से बचें।

राजस्थान की तपती धरती एक बार फिर गर्मी के चरम पर है, और आने वाले दिन इस चुनौती को और कठिन बना सकते हैं।

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