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वीर तेजाजी मंदिर प्राण प्रतिष्ठा का हिस्सा बने बेनीवाल! जोशीले भाषण से बढ़ाया लोगों का उत्साह, वीडियो में देखे क्या-कुछ बोले RLP प्रमुख 

वीर तेजाजी मंदिर प्राण प्रतिष्ठा का हिस्सा बने हनुमान बेनीवाल! जोशीले भाषण से बढ़ाया लोगों का उत्साह, वीडियो में देखे क्या-कुछ बोले RLP प्रमुख 

राजस्थान के गांवों और कस्बों में धार्मिक आयोजन सदैव से लोगों के लिए सामाजिक और आध्यात्मिक महत्व रखते आए हैं। इसी कड़ी में हाल ही में वीर तेजाजी मंदिर में आयोजित प्राण प्रतिष्ठा समारोह ने स्थानीय लोगों और श्रद्धालुओं का ध्यान आकर्षित किया। इस भव्य अवसर पर प्रमुख अतिथि के रूप में मौजूद थे युवा और जनाधिकार कार्यकर्ता हनुमान बेनीवाल, जिन्होंने अपने जोशीले भाषण से उपस्थित भक्तों और समाजसेवियों का मन मोह लिया।

वीर तेजाजी, जिन्हें राजस्थान और हरियाणा में पशुपालक समाज के संरक्षक देवता के रूप में पूजा जाता है, उनके मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा किसी उत्सव से कम नहीं थी। मंदिर परिसर को विशेष रूप से सजाया गया था, और भक्तों ने सुबह से ही मंदिर पहुंचकर भगवान तेजाजी की पूजा-अर्चना में भाग लिया। रंग-बिरंगे फूलों, धार्मिक झांकियों और भजन-कीर्तन की आवाज़ों ने पूरे माहौल को श्रद्धाभाव से भर दिया।

हनुमान बेनीवाल ने अपने भाषण में स्थानीय इतिहास और वीर तेजाजी के जीवन की वीरता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि तेजाजी केवल एक देवता नहीं, बल्कि किसानों और पशुपालकों के लिए प्रेरणा का स्रोत हैं। उनके साहस और त्याग की कहानी हर पीढ़ी को न केवल धार्मिक दृष्टि से बल्कि सामाजिक दृष्टि से भी मार्गदर्शन देती है। हनुमान बेनीवाल ने कहा, "आज हम यहां सिर्फ मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा के लिए नहीं बल्कि तेजाजी के आदर्शों को याद करने और उन्हें अपने जीवन में उतारने के लिए एकत्रित हुए हैं।"

भक्तों और उपस्थित नागरिकों ने उनके भाषण को अत्यंत प्रेरणादायक बताया। हनुमान बेनीवाल ने अपने भाषण में किसानों और पशुपालकों की समस्या और समाज में उनके योगदान पर भी प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि वीर तेजाजी की तरह आज के समय में भी हमें अपने समुदाय और समाज की भलाई के लिए काम करना चाहिए। उनके विचारों और जोशीले अंदाज ने समारोह में उपस्थित सभी लोगों को जोड़े रखा।

समारोह के दौरान मंदिर परिसर में सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आयोजित किए गए। लोक कलाकारों ने तेजाजी की वीरता और त्याग की झांकियों के माध्यम से प्रस्तुतियां दीं, जिन्हें देखने के लिए बड़ी संख्या में लोग पहुंचे। इसके साथ ही, बच्चों और युवाओं के लिए विशेष प्रेरक सत्र भी आयोजित किए गए, जिसमें उन्हें वीरता, नैतिकता और सामाजिक सेवा के महत्व के बारे में बताया गया।

वीर तेजाजी मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण थी, बल्कि यह सामाजिक और सांस्कृतिक दृष्टि से भी एक महत्वपूर्ण आयोजन साबित हुआ। हनुमान बेनीवाल के जोशीले और प्रेरक भाषण ने समारोह में नई ऊर्जा भर दी। भक्तों ने इस अवसर को यादगार बताते हुए कहा कि ऐसे आयोजनों से समुदाय में एकता, श्रद्धा और सामाजिक जागरूकता बढ़ती है।

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