
भाकपा-माओवादी संगठन ने 22 अप्रैल 2009 को झारखंड-बिहार बंद की घोषणा की। इस दौरान माओवादियों ने लातेहार जिले के हेहेगड़ा स्टेशन पर बीडीएम पैसेंजर ट्रेन का अपहरण कर लिया। ट्रेन में 500 से अधिक यात्री सवार थे।
उस समय माओवादियों ने पत्रकारों के माध्यम से रेलवे प्रबंधन से बात की थी। बाद में पलामू जिला मुख्यालय से पत्रकारों की एक टीम पहुंची और लोगों को समझाने के बाद ट्रेन को रवाना किया गया।
ट्रेन 90 मिनट तक नक्सलियों के कब्जे में रही।
करीब डेढ़ घंटे तक पूरी ट्रेन नक्सलियों के कब्जे में रही। यात्री हैरान रह गए। नक्सलियों ने बंधक बनाए गए रेल यात्रियों के लिए सत्तू का भी प्रबंध किया था।
आपको बता दें कि पलामू लोकसभा सीट के लिए पहले चरण का मतदान 16 अप्रैल को हुआ था। दूसरे चरण का मतदान 23 अप्रैल 2009 को होना निर्धारित था। यह झारखंड में ट्रेन अपहरण की पहली घटना थी। ट्रेन बरकाकाना से मुगलसराय जा रही थी। उनका अपहरण सुबह 7:30 बजे हुआ। डेढ़ घंटे बाद उसे रिहा कर दिया गया।
पाकिस्तान में ट्रेन अपहरण
उल्लेखनीय है कि बलूच लिबरेशन आर्मी ने मंगलवार को पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत में जाफर एक्सप्रेस का अपहरण कर लिया था। जब ट्रेन का अपहरण हुआ तब उसमें 425 लोग सवार थे। जाफर एक्सप्रेस बलूचिस्तान प्रांत की राजधानी क्वेटा से खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के शहर पेशावर जा रही थी।