हिमाचल न्यूज़ डेस्क, जिला कुल्लू के इतिहास में एक और अध्याय तब जुड़ गया जब खोखन कोठी के देवता आदिब्रह्मा ने देवसमगम कुल्लू से मंदिर लौटते समय अनुष्ठान के अनुसार दोहरनाला पुल का उद्घाटन किया. हिमाचल के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है जब देवी ने सरकार के विकास कार्यों का उद्घाटन दैवीय पद्धति से किया. हालांकि, एक दिन पहले मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर ने कुल्लू में 1.51 करोड़ रुपये के दोहरानाला पुल का लोकार्पण व अन्य शिलान्यास के दौरान वर्चुअल माध्यम से जनता को समर्पित किया था.
वहीं, देवता आदिब्रह्म ने मौके पर ही पुल का उद्घाटन कर जनता को समर्पित कर दिया. बता दें कि मुख्यमंत्री द्वारा वर्चुअल माध्यम से जनता को समर्पित करने के बाद देवता आदि ब्रह्मा सबसे पहले अपने करकून और हरियाणों के साथ इस पुल से गुजरे. ऐसा भी पहली बार हुआ है. जानकारी के मुताबिक, खास बात यह रही कि जब देवता आदिब्रह्मा ने पुल का उद्घाटन किया तो इस दौरान स्थानीय पंचायत, पूरे शिल्हिराजगिरी फाटी के लोग और विभाग के कर्मचारी भी मौजूद रहे. देवता द्वारा किए गए उद्घाटन की प्रक्रिया को देवता ने अपने पुजारी और अन्य प्रमुख करकूनों के साथ पूरा किया. यहां उद्घाटन नारियल, तार, अगरबत्ती और गेहूं के आटे से बने पिंडू से किया गया. इसके बाद देवता पुल के माध्यम से अपने मंदिर की ओर आगे आए.
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