विश्व मुक्केबाजी चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक जीतने वाली युवा मुक्केबाज जैस्मिन लंबोरिया बुधवार को इंग्लैंड से घर लौट आई। शहरवासियों और परिवार के सदस्यों ने उनका भव्य स्वागत किया। स्वागत समारोह में फूलों की बौछार, ढोल-नगाड़ों की ध्वनि और ग्रामीणों व खेल प्रेमियों की भारी भीड़ मौजूद रही।
जैस्मिन ने मीडिया से बातचीत में कहा कि उनका अगला सपना वर्ष 2028 के ओलंपिक में देश के लिए पदक जीतना है। उन्होंने यह भी कहा कि वह लगातार कठिन प्रशिक्षण और समर्पण के जरिए अपने लक्ष्य को हासिल करेंगी। उनकी इस सफलता ने न केवल परिवार और शहरवासियों को गर्व महसूस कराया, बल्कि पूरे देश में मुक्केबाजी प्रेमियों में उत्साह और प्रेरणा भी भर दी।
इससे पहले मंगलवार को दिल्ली एयरपोर्ट पर भी जैस्मिन का अभिनंदन किया गया था। इस अवसर पर हरियाणा बॉक्सिंग संघ, बॉक्सिंग फेडरेशन और भारतीय आर्मी की टीम ने उनकी उपलब्धि को सम्मानित किया। एयरपोर्ट पर भीड़ में आए लोग जैस्मिन के साथ सेल्फी लेने और उनका उत्सव मनाने में व्यस्त रहे।
हरियाणा बॉक्सिंग संघ के अध्यक्ष ने कहा कि जैस्मिन की यह सफलता राज्य और देश दोनों के लिए गौरव का पल है। उन्होंने कहा कि यह जीत सिर्फ व्यक्तिगत उपलब्धि नहीं, बल्कि पूरे युवा वर्ग के लिए प्रेरणा स्रोत है। उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि जैस्मिन ने अपने दम पर खेल में पहचान बनाई है और आने वाले वर्षों में ओलंपिक में उनका प्रदर्शन देश के लिए गर्व का कारण बनेगा।
जैस्मिन की सफलता का श्रेय उनके कड़ी मेहनत, समर्पण और ट्रेनिंग को दिया जा रहा है। उनके कोच ने बताया कि जैस्मिन ने प्रशिक्षण के दौरान मानसिक और शारीरिक दोनों रूप से तैयारी की थी। उन्होंने तकनीकी अभ्यास, शक्ति प्रशिक्षण और रणनीतिक खेल पर विशेष ध्यान दिया, जिससे उन्हें विश्व स्तर पर प्रतिस्पर्धा में सफलता मिली।
स्थानीय लोगों ने जैस्मिन का स्वागत करते हुए कहा कि यह उपलब्धि युवाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत है। उन्होंने सरकार और खेल संघों से अपील की कि ऐसे प्रतिभाशाली खिलाड़ियों को प्रोत्साहन, सुविधाएं और प्रशिक्षण संसाधन उपलब्ध कराए जाएं।

