‘10 साल से प्रताड़ित’, अंतरजातीय विवाह को लेकर दबंगों ने युवती से की हाथापाई और गाली-गलौज, थाने पहुंच पीड़िता ने लगाई गुहार
छत्तीसगढ़ के जशपुर जिले से जातिगत भेदभाव और सामाजिक प्रताड़ना का गंभीर मामला सामने आया है। एक ओबीसी समुदाय की युवती ने आरोप लगाया है कि अंतरजातीय विवाह करने के बाद से ही उसे पिछले 10 वर्षों से लगातार प्रताड़ित किया जा रहा है। हाल ही में गांव के दबंगों ने उसके साथ हाथापाई की और जातिसूचक गालियां देते हुए खुलेआम अपमानित किया। पीड़िता की शिकायत पर पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
पीड़िता ने पुलिस को दिए बयान में बताया कि करीब 10 साल पहले उसने एक आदिवासी युवक से प्रेम विवाह किया था। यह विवाह गांव के कुछ प्रभावशाली लोगों को शुरू से ही स्वीकार नहीं था। शादी के बाद से ही उसे सामाजिक बहिष्कार, ताने और मानसिक प्रताड़ना का सामना करना पड़ा। आरोप है कि गांव के दबंग उसे बार-बार धमकाते रहे और जाति के नाम पर अपमानित करते रहे।
पीड़िता का कहना है कि हाल ही में दबंगों ने उसकी हदें पार कर दीं। उसे रास्ते में घेरकर न सिर्फ जातिसूचक शब्द कहे गए, बल्कि उसके साथ हाथापाई भी की गई। इस घटना से वह मानसिक रूप से टूट गई और आखिरकार न्याय की उम्मीद में थाने पहुंची। उसने पुलिस से अपनी और अपने परिवार की सुरक्षा की गुहार लगाई है।
पुलिस अधिकारियों के अनुसार, पीड़िता की शिकायत पर संबंधित धाराओं में केस दर्ज कर लिया गया है। मामले में अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम सहित अन्य धाराओं में कार्रवाई की जा रही है। आरोपियों की पहचान की जा रही है और जल्द ही उन्हें हिरासत में लिया जाएगा।
इस घटना के बाद क्षेत्र में आक्रोश का माहौल है। सामाजिक संगठनों और मानवाधिकार कार्यकर्ताओं ने इस मामले की कड़ी निंदा की है। उनका कहना है कि संविधान हर नागरिक को अपनी पसंद से शादी करने का अधिकार देता है और जाति के आधार पर हिंसा व प्रताड़ना लोकतांत्रिक समाज के लिए शर्मनाक है।
फिलहाल पुलिस का कहना है कि मामले की निष्पक्ष जांच की जा रही है और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी, ताकि पीड़िता को न्याय मिल सके और भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।

