छत्तीसगढ़ में ऑनलाइन चाकुओं की बिक्री पर रोक, पुलिस की कार्रवाई के बाद फ्लिपकार्ट ने बंद की डिलीवरी
छत्तीसगढ़ में लगातार हो रही चाकूबाजी की घटनाओं और हत्याओं में ऑनलाइन मंगवाए गए धारदार हथियारों की भूमिका सामने आने के बाद राज्य पुलिस ने बड़ी कार्रवाई की है। पुलिस द्वारा की गई इस सख्त कार्रवाई के चलते अब प्रदेश में ऑनलाइन प्लेटफॉर्म्स के जरिए चाकुओं की बिक्री और डिलीवरी पर रोक लगा दी गई है। ई-कॉमर्स कंपनी फ्लिपकार्ट ने भी छत्तीसगढ़ राज्य में चाकुओं की डिलीवरी पर तत्काल प्रभाव से रोक लगाने का फैसला लिया है।
राजधानी रायपुर सहित प्रदेश के कई शहरों में हाल के महीनों में चाकू से होने वाले अपराधों में चिंताजनक बढ़ोतरी हुई है। अधिकतर मामलों में यह सामने आया कि आरोपी ने धारदार चाकू ऑनलाइन प्लेटफॉर्म्स से मंगवाए थे। इन घटनाओं को देखते हुए पुलिस ने तत्काल इन प्लेटफॉर्म्स पर निगरानी शुरू की और संबंधित कंपनियों को पत्र भेजकर कार्रवाई करने को कहा।
पुलिस अधिकारियों के मुताबिक, युवाओं में स्टंट, दिखावा और अपराध की प्रवृत्ति को बढ़ावा देने में सोशल मीडिया और ऑनलाइन ऑर्डर किए गए हथियारों की भूमिका महत्वपूर्ण है। आरोपी आसानी से इंटरनेट पर जाकर कुछ ही क्लिक में खतरनाक चाकू खरीद लेते हैं, जो फिर अपराध में इस्तेमाल हो रहे हैं। इससे आमजन की सुरक्षा पर खतरा मंडरा रहा था।
इसी के मद्देनजर रायपुर पुलिस ने ई-कॉमर्स कंपनियों को पत्र लिखकर चाकुओं और अन्य धारदार हथियारों की बिक्री पर रोक लगाने की मांग की थी। इसके बाद फ्लिपकार्ट ने कार्रवाई करते हुए छत्तीसगढ़ में चाकू जैसे उत्पादों की डिलीवरी पर पूर्ण रोक लगा दी है। अन्य ई-कॉमर्स साइट्स से भी यही अपील की गई है।
पुलिस ने स्पष्ट किया है कि प्रदेश में कानून-व्यवस्था को बनाए रखने के लिए ऐसे कदम जरूरी हो गए थे। अब यदि कोई व्यक्ति चाकू जैसी चीजें मंगवाता है, तो कंपनी की डिलीवरी टीम संबंधित ऑर्डर को कैंसिल कर देगी और उस पर नजर भी रखी जाएगी। इसके साथ ही पुलिस ऐसे लोगों की निगरानी भी करेगी जो बार-बार ऐसे उत्पाद ऑर्डर करने की कोशिश कर रहे हैं।
बता दें कि इससे पहले रायपुर के एक किशोर द्वारा अपने ही दोस्त पर ऑनलाइन खरीदे चाकू से हमला करने का मामला सामने आया था, जिसने प्रशासन को गंभीर रूप से सोचने के लिए मजबूर कर दिया। पुलिस विभाग अब राज्यभर में जागरूकता अभियान भी चलाने की योजना बना रहा है, ताकि युवाओं को अपराध की ओर बढ़ने से रोका जा सके।
छत्तीसगढ़ पुलिस की इस पहल की आम जनता में सराहना हो रही है। लोग मानते हैं कि यह कदम अपराध की रोकथाम की दिशा में एक महत्वपूर्ण फैसला है, जिससे आने वाले दिनों में चाकूबाजी की घटनाओं में कमी आने की उम्मीद है।

