शहर में शहरी यातायात को सुगम बनाने और ट्रैफिक जाम कम करने के उद्देश्य से पटना प्रशासन ने ऑटो-ई-रिक्शा परमिट के लिए आवेदन प्रक्रिया 23 सितंबर से शुरू करने का निर्णय लिया है। इस योजना के तहत वाहन मालिक अब अपने जोन के अनुसार रूट परमिट के लिए आवेदन कर सकेंगे।
पिछले कुछ वर्षों में पटना में यातायात की भीड़ और प्रदूषण में लगातार वृद्धि देखी गई है। इसके मद्देनजर प्रशासन ने शहर को येलो, ग्रीन, ब्लू और व्हाइट जोन में बांटकर ऑटो और ई-रिक्शा सेवा को व्यवस्थित करने का कदम उठाया है। जोन के आधार पर परमिट देने से न केवल ट्रैफिक प्रबंधन आसान होगा, बल्कि शहर में जाम की समस्या और वायु प्रदूषण में भी कमी आएगी।
पटना नगर निगम के अधिकारियों ने बताया कि जो वाहन मालिक आवेदन करेंगे, उनके वाहनों की जांच और रूट निर्धारण के बाद ही परमिट जारी किया जाएगा। अधिकारी ने कहा, “हमारा उद्देश्य है कि शहर में सभी ऑटो और ई-रिक्शा व्यवस्थित ढंग से चलें और यातायात सुगम रहे। इस प्रक्रिया से नागरिकों को सफर में आसानी होगी और प्रदूषण भी कम होगा।”
शहरवासियों का कहना है कि यह कदम शहर के लिए बहुत ही उपयोगी साबित होगा। “पटना में रोजाना जाम और भीड़भाड़ से सफर करना मुश्किल हो जाता है। यदि ऑटो और ई-रिक्शा नियमबद्ध तरीके से चलेंगे और सही रूट परमिट के तहत सेवा देंगे, तो यातायात सुगम होगा,” एक स्थानीय नागरिक ने कहा।
प्रशासन ने वाहन मालिकों के लिए आवेदन प्रक्रिया को सरल और पारदर्शी बनाने की योजना बनाई है। आवेदन ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरीकों से स्वीकार किए जाएंगे। अधिकारियों ने यह भी स्पष्ट किया कि नियमों का पालन न करने वाले वाहन मालिकों के परमिट रद्द किए जा सकते हैं।
विशेषज्ञों का कहना है कि शहर में रूट बेस्ड परमिट प्रणाली लागू करने से ट्रैफिक जाम, ईंधन की खपत और प्रदूषण पर सकारात्मक असर पड़ेगा। “जब प्रत्येक ऑटो और ई-रिक्शा को निर्धारित रूट पर चलना होगा, तो यातायात का बहाव सुचारू रहेगा और शहर का वायु गुणवत्ता स्तर भी सुधरेगा,” ट्रैफिक विशेषज्ञ ने बताया।
नगर निगम ने आवेदन के लिए आवश्यक दस्तावेजों, शुल्क और नियमों के बारे में विस्तृत जानकारी भी जारी की है। वाहन मालिकों को निर्देश दिया गया है कि वे समय पर आवेदन करें और अपने वाहन के कागजात पूरी तरह तैयार रखें।
पटना प्रशासन ने यह भी स्पष्ट किया है कि इस योजना के सफल क्रियान्वयन के लिए पुलिस और यातायात विभाग के अधिकारियों की निगरानी रहेगी। सभी जोन में ट्रैफिक पुलिस वाहन निरीक्षण और रूट पालन की मॉनिटरिंग करेगी।
इस कदम से न केवल यात्रियों के लिए सुविधाजनक सफर सुनिश्चित होगा, बल्कि शहर में प्रदूषण नियंत्रण और सार्वजनिक सुरक्षा भी बढ़ेगी। अधिकारियों का कहना है कि आने वाले समय में इस योजना के तहत और सुधार किए जाएंगे ताकि पटना में सार्वजनिक परिवहन और निजी वाहनों का संतुलित संचालन संभव हो सके।

