अखिलेश यादव की प्रेस वार्ता में दिखे देसी टार्जन राजा यादव, बिहार की सियासत में नए समीकरण के संकेत
समाजवादी पार्टी (सपा) के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सोमवार को एक अहम प्रेस वार्ता की। हालांकि इस बार चर्चा का विषय केवल अखिलेश यादव के बयान नहीं थे, बल्कि मंच पर उनके साथ मौजूद एक खास शख्सियत — बिहार के 'देसी टार्जन' के नाम से मशहूर राजा यादव भी सुर्खियों में रहे।
राजा यादव को उनके अनोखे अंदाज़ और सामाजिक गतिविधियों के लिए जाना जाता है। वे बिहार के कई हिस्सों में युवाओं के बीच लोकप्रिय चेहरा बन चुके हैं। अब जब वे सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव के साथ मंच साझा करते नजर आए, तो राजनीतिक गलियारों में अटकलों का दौर शुरू हो गया है।
🔹 अखिलेश यादव ने क्या कहा?
प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान अखिलेश यादव ने कहा कि:
"समाजवादी पार्टी देशभर में सामाजिक न्याय, युवाओं की भागीदारी और गरीबों की आवाज़ को मजबूत करने के लिए प्रतिबद्ध है। हम ऐसे व्यक्तित्वों को साथ लाना चाहते हैं, जो जमीनी स्तर पर बदलाव ला सकते हैं। राजा यादव भी ऐसे ही लोगों में से एक हैं।"
🔹 कौन हैं देसी टार्जन राजा यादव?
राजा यादव को बिहार में 'देसी टार्जन' के नाम से जाना जाता है। वे ग्रामीण युवाओं, पिछड़े वर्गों और आदिवासी समुदायों के बीच सक्रिय रहते हैं और सामाजिक जागरूकता फैलाने का काम करते हैं। उनका पहनावा, भाषण शैली और आमजन से जुड़ने का अंदाज़ उन्हें खास बनाता है।
🔹 सियासी मायने क्या हैं?
राजा यादव का अखिलेश यादव के साथ मंच पर आना संकेत देता है कि सपा अब उत्तर प्रदेश के बाहर, विशेषकर बिहार में भी सामाजिक नेताओं को जोड़कर नए सियासी समीकरण बनाने की कोशिश कर रही है। यह 2025 बिहार विधानसभा चुनाव को देखते हुए अहम रणनीतिक कदम माना जा रहा है।
🔹 क्या राजनीति में एंट्री करेंगे राजा यादव?
हालांकि राजा यादव की ओर से औपचारिक तौर पर किसी दल में शामिल होने की घोषणा नहीं की गई, लेकिन उनके इस मंच साझा करने को राजनीतिक विश्लेषक सपा से उनकी निकटता और भविष्य में सक्रिय राजनीति में प्रवेश का संकेत मान रहे हैं।

