राबड़ी देवी का सरकारी आवास खाली करने की प्रक्रिया शुरू, रात में शिफ्ट हुआ सामान
बिहार की पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी का पटना स्थित सरकारी आवास खाली कराने की प्रक्रिया शुरू हो गई है। गुरुवार देर रात अंधेरे में आवास से सामान शिफ्ट करने का काम शुरू किया गया, जिससे राजनीतिक हलचल तेज हो गई है। यह कार्रवाई नई सरकार के गठन के बाद जारी किए गए नोटिस के तहत की जा रही है, हालांकि लालू परिवार ने पहले ही इस आदेश का विरोध किया था।
जानकारी के अनुसार, पटना के 10 सर्कुलर रोड स्थित सरकारी आवास से छोटे-बड़े घरेलू सामान को वाहनों के जरिए बाहर निकाला गया। यह सामान गोला रोड स्थित गौशाला में शिफ्ट किए जाने की बात सामने आई है। रात में अचानक शुरू हुई इस प्रक्रिया को लेकर इलाके में चर्चा का माहौल बन गया।
बताया जा रहा है कि नई सरकार बनने के बाद सामान्य प्रशासन विभाग की ओर से पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी को सरकारी आवास खाली करने का नोटिस दिया गया था। नियमों के अनुसार, पद पर न रहने के बाद निर्धारित अवधि के भीतर सरकारी आवास खाली करना होता है। इसी के तहत यह कार्रवाई की जा रही है।
हालांकि, लालू परिवार और राष्ट्रीय जनता दल (राजद) की ओर से इस आदेश का विरोध किया गया था। राजद नेताओं का कहना था कि राबड़ी देवी लंबे समय से इस आवास में रह रही हैं और इसे लेकर सरकार को मानवीय दृष्टिकोण अपनाना चाहिए। पार्टी ने इसे राजनीतिक प्रतिशोध से जोड़ते हुए सवाल भी खड़े किए थे।
इस पूरे घटनाक्रम का समय भी सियासी तौर पर अहम माना जा रहा है। बताया जा रहा है कि राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव फिलहाल दिल्ली में हैं, जबकि नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव पटना में मौजूद नहीं हैं। उनकी अनुपस्थिति में रात के समय सामान शिफ्ट किए जाने से विपक्ष को सरकार की मंशा पर सवाल उठाने का मौका मिल गया है।
प्रशासनिक सूत्रों का कहना है कि यह पूरी प्रक्रिया नियमों के तहत की जा रही है और इसमें किसी तरह की जल्दबाजी या दबाव की बात नहीं है। वहीं, सुरक्षा के लिहाज से आवास के आसपास पुलिस बल भी तैनात रहा, ताकि किसी तरह की अव्यवस्था न हो।

