पार्टी कार्यकर्ता मुझे सीएम देखना चाहते, बिहार चुनाव से पहले चिराग ने छोड़ी नई चिंगारी

बिहार विधानसभा चुनाव को लेकर राज्य में राजनीतिक सरगर्मी बढ़ने लगी है. पीएम मोदी भी इन दिनों बिहार के दौरे पर हैं. एक तरफ जहां एनडीए सत्ता में वापसी की बात कर रही है, वहीं महागठबंधन ने भी अभी से तैयारियां शुरू कर दी हैं. इन सबके बीच ने केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान से खास बातचीत की. बिहार चुनाव को लेकर चिराग पासवान ने कहा कि अगर मेरी पार्टी चाहेगी तो मैं विधानसभा चुनाव लड़ूंगा. मिशन बिहार मेरा लक्ष्य है. बिहार फर्स्ट और बिहारी फर्स्ट मेरी प्राथमिकताएं हैं. पार्टी के कार्यकर्ता चाहते हैं कि मैं मुख्यमंत्री बनूं. मैं उनकी भावनाओं का सम्मान करता हूं. कार्यकर्ता चाहते हैं कि उनका नेता राज्य के सर्वोच्च पद पर हो. इसमें कुछ भी गलत नहीं है. चिराग पासवान ने से कहा कि मेरी लड़ाई सिर्फ दलित कहलाने की है. मैं पढ़े-लिखे परिवार से आता हूं. मैं जहां भी रहा हूं, मैंने कभी इतनी सख्त जाति व्यवस्था नहीं देखी. लेकिन मैंने बिहार में यह देखा है. मैं बिहार में कभी किसी बिहारी से नहीं मिला. यहां हर जाति बंटी हुई है. उन्होंने आगे कहा कि आज तक मेरे पास एक भी विधायक नहीं है. इस वजह से मैं अपनी आवाज नहीं उठा सकता. मुझे राज्य में अपनी पार्टी को मजबूत करना है. मैं केंद्र में अपनी राय रखता हूं लेकिन बिहार विधानसभा में मेरी पार्टी का कोई उम्मीदवार नहीं है. मैं सबसे पहले शिक्षा पर काम करना चाहता हूं. मुझे इंफ्रास्ट्रक्चर पर भी काम करना है. चिराग पासवान ने कहा कि हमें पलायन रोकने पर काम करना है. हमें पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए काम करना है. हमें स्वास्थ्य पर भी काम करना है. हमें किसानों को भी मजबूत करना है. उन्होंने कहा कि तेजस्वी से तुलना होना बड़ी बात है. मैं इससे बहुत खुश हूं. इसका कारण यह है कि बिहार में मेरा एक भी विधायक नहीं है. तेजस्वी विपक्ष के नेता हैं. उनके परिवार से दो मुख्यमंत्री रह चुके हैं. तेजस्वी से तुलना होने पर मुझे कोई दुख नहीं होता.