टीम इंडिया को इंगलैंड से बराबर करना है हिसाब तो करना होगा ये खास काम? तोड मरोड कर रखना होगा 58 साल का इतिहास

क्रिकेट न्यूज डेस्क।। टीम इंडिया का इंग्लैंड दौरा बिल्कुल वैसी ही शुरू हुआ जैसी उम्मीद थी। पहले ही टेस्ट मैच में नई और बदली हुई भारतीय टीम को हार का सामना करना पड़ा। हालांकि, लीड्स में खेले गए इस पहले टेस्ट मैच में कप्तान शुभमन गिल की टीम के प्रदर्शन ने उम्मीद जरूर जगाई कि इंग्लैंड के लिए सीरीज इतनी आसान नहीं होगी। लेकिन फिलहाल टीम इंडिया सीरीज में पीछे है और अगले मैच में उसे वापसी करनी होगी। अब ऐसा करने के लिए टीम इंडिया को कुछ ऐसा करना होगा जो पिछले 58 सालों में कभी नहीं हुआ- एजबेस्टन में जीत।
बर्मिंघम में नहीं जीता एक भी टेस्ट
लीड्स के बाद टेस्ट सीरीज का काफिला बर्मिंघम शहर पहुंच चुका है और टीम इंडिया यहां भी पहुंच चुकी है। सीरीज का दूसरा मैच 2 जुलाई से बर्मिंघम के एजबेस्टन स्टेडियम में खेला जाएगा। टीम इंडिया को अब यह मैच जीतना होगा, ताकि सीरीज 1-1 से बराबर हो सके। लेकिन इसके लिए टीम इंडिया को एजबेस्टन में अपना सर्वश्रेष्ठ और यादगार प्रदर्शन करना होगा और इसकी वजह यह है कि 100 साल से भी पुराने इस मैदान पर टीम इंडिया ने एक भी टेस्ट मैच नहीं जीता है।
एजबस्टन में टीम इंडिया का रिकॉर्ड गवाह है कि यह मैदान उसके लिए सबसे मुश्किल जगहों में से एक रहा है। भारतीय टीम ने इस मैदान पर अपना पहला टेस्ट मैच 1967 में खेला था और इंग्लैंड ने इसे 132 रनों के बड़े अंतर से जीता था। तब से लेकर 2022 तक भारतीय टीम ने इस मैदान पर कुल 8 टेस्ट मैच खेले हैं और 7 में उसे हार का सामना करना पड़ा है। एकमात्र मैच जिसमें टीम इंडिया नहीं हारी, वह 1986 में खेला गया था और ड्रॉ रहा था। यानी टीम इंडिया 58 साल में एक बार भी यहां जीत हासिल करने में नाकाम रही है, बल्कि पिछले 39 सालों से हार से बचने में भी नाकाम रही है।
पिछले मैच में करारी हार मिली थी
इसका मतलब यह है कि टीम इंडिया को न सिर्फ अपने प्रदर्शन में सुधार करना होगा बल्कि इस मैदान पर अपने पुराने इतिहास को भी बदलना होगा। इतिहास की बात करें तो इस मैदान पर भारतीय टीम द्वारा खेले गए आखिरी मैच में भी लीड्स जैसा ही हाल देखने को मिला था। जुलाई 2022 में खेले गए उस मैच में भारतीय टीम ने इंग्लैंड को 373 रनों का लक्ष्य दिया था और इंग्लैंड ने बिना किसी मुश्किल के उस लक्ष्य को हासिल कर लिया था। यहीं से इंग्लैंड के 'बेसबॉल' युग की शुरुआत हुई थी। उस मैच में सबसे पहले जसप्रीत बुमराह ने टीम इंडिया की कप्तानी की थी और संयोग से इस बार बुमराह एजबेस्टन में खेलते हुए नजर नहीं आएंगे। अब टीम इंडिया को उनके बिना ही इतिहास बदलना होगा।