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वीडियो में देखे 'ऑपरेशन सिंदूर' पर संसद में घमासान!महिला सांसद ने सवाल उठाते हुए कहा - 'अमेरिका के दबाव में झुका भारत...'

वीडियो में देखे 'ऑपरेशन सिंदूर' पर संसद में घमासान!महिला सांसद ने सवाल उठाते हुए कहा - 'अमेरिका के दबाव में झुका भारत...'

भारत सरकार द्वारा हाल ही में चलाए गए 'ऑपरेशन सिंदूर' को लेकर राजनीतिक गलियारों में चर्चाएं तेज हो गई हैं। इस ऑपरेशन के जरिए विदेशी धरती पर फंसी भारतीय महिलाओं को बचाकर स्वदेश लाने की कोशिश की गई, जो अपने पति या ससुराल पक्ष द्वारा विदेश में छोड़ी गई थीं या फिर अत्याचार की शिकार बनी थीं। हालांकि, इस मानवीय पहल की सराहना के साथ अब इस पर राजनीतिक और कूटनीतिक सवाल भी उठने लगे हैं, खासकर तब जब इसे अमेरिका और अन्य पश्चिमी देशों के दबाव से जोड़कर देखा जा रहा है।

बीते सप्ताह संसद में महिला सांसदों के एक समूह ने इस मुद्दे को जोरदार तरीके से उठाया। उन्होंने सवाल किया कि क्या भारत ने यह अभियान अमेरिका के कूटनीतिक दबाव में आकर शुरू किया है? क्या भारत की विदेश नीति अब बाहरी दबावों के आगे झुक रही है? और सबसे अहम – क्या यह कदम विदेशों में भारतीय समुदाय के घरेलू मामलों में सीधा हस्तक्षेप नहीं है?

क्या है ऑपरेशन सिंदूर?

'ऑपरेशन सिंदूर' उन भारतीय महिलाओं को न्याय दिलाने का एक प्रयास है जिन्हें विवाह के बाद एनआरआई या विदेशी नागरिक बने भारतीय पतियों द्वारा धोखा दिया गया। हजारों महिलाएं ऐसी स्थिति में विदेश में अकेली, असहाय और बिना किसी कानूनी सहायता के रह गई थीं। केंद्र सरकार ने इस अभियान के जरिए दर्जनों महिलाओं को बचाया और उन्हें भारत वापस लाने में मदद की।

महिला सांसदों के उठाए गए सवाल

इस अभियान को लेकर कांग्रेस की महिला सांसद सुष्मिता देव ने सवाल उठाया कि अगर यह भारत की स्वतंत्र नीति के तहत किया गया है, तो इसकी स्पष्ट रूपरेखा क्या है? उन्होंने यह भी पूछा कि अमेरिका, यूके और कनाडा जैसे देशों से बातचीत करते समय क्या भारत सरकार ने उन शर्तों को स्वीकार किया, जो घरेलू मामलों में दखल देने जैसी मानी जा सकती हैं?

टीएमसी की सांसद महुआ मोइत्रा ने तो इसे सीधा “विदेशी दखल में झुकने” का उदाहरण बताया। उन्होंने कहा, "यह अच्छा है कि महिलाओं की मदद हो रही है, लेकिन हमें यह भी देखना होगा कि क्या भारत अपने संवैधानिक और विदेश नीति के सिद्धांतों से समझौता कर रहा है?"

सरकार की सफाई

इन आरोपों पर विदेश मंत्रालय ने सफाई देते हुए कहा कि ऑपरेशन सिंदूर भारत की पहल है और यह पूरी तरह से मानवीय दृष्टिकोण पर आधारित है। मंत्रालय ने कहा कि यह कदम भारतीय नागरिकों के अधिकारों की रक्षा और उनकी सुरक्षा के लिए उठाया गया है, न कि किसी विदेशी दबाव के तहत।

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