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निष्पक्ष कर न्याय की मजबूत नींव है अधिकरण: अर्जुन राम मेघवाल

लखनऊ, 21 दिसंबर (आईएएनएस)। आयकर अपीलीय अधिकरण (आईटीएटी) की लखनऊ पीठ की स्थापना के 25 वर्ष पूर्ण होने के अवसर पर रविवार को रजत जयंती समारोह का भव्य एवं गरिमामय आयोजन किया गया। केंद्रीय विधि एवं न्याय राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) अर्जुन राम मेघवाल ने समारोह की अध्यक्षता करते हुए आईटीएटी को देश की कर-न्याय व्यवस्था की रीढ़ बताया और कहा कि यह संस्था दशकों से करदाताओं को निष्पक्ष, सुलभ और त्वरित न्याय उपलब्ध करा रही है।
निष्पक्ष कर न्याय की मजबूत नींव है अधिकरण: अर्जुन राम मेघवाल

लखनऊ, 21 दिसंबर (आईएएनएस)। आयकर अपीलीय अधिकरण (आईटीएटी) की लखनऊ पीठ की स्थापना के 25 वर्ष पूर्ण होने के अवसर पर रविवार को रजत जयंती समारोह का भव्य एवं गरिमामय आयोजन किया गया। केंद्रीय विधि एवं न्याय राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) अर्जुन राम मेघवाल ने समारोह की अध्यक्षता करते हुए आईटीएटी को देश की कर-न्याय व्यवस्था की रीढ़ बताया और कहा कि यह संस्था दशकों से करदाताओं को निष्पक्ष, सुलभ और त्वरित न्याय उपलब्ध करा रही है।

मंत्री मेघवाल ने मुख्य अतिथि के रूप में संबोधित करते हुए कहा कि आयकर अपीलीय अधिकरण ने तकनीकी जटिलताओं से मुक्त, कम खर्चीली और विशेषज्ञता-आधारित न्यायिक प्रक्रिया विकसित कर लोकतंत्र में न्याय तक पहुंच को आसान बनाया है। उन्होंने अधिकरण की डिजिटल पहलों की सराहना करते हुए कहा कि ई-हियरिंग और वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग जैसी व्यवस्थाओं से दूरस्थ क्षेत्रों के करदाताओं को भी समयबद्ध न्याय मिल रहा है।

उन्होंने आयकर अपीलीय अधिकरण को देश की कर-न्याय व्यवस्था का सुदृढ़ स्तंभ बताते हुए कहा कि यह संस्था दशकों से करदाताओं को निष्पक्ष, सुलभ और त्वरित न्याय प्रदान कर रही है। उन्होंने कहा कि आयकर अपीलीय अधिकरण ने तकनीकी जटिलताओं से मुक्त, कम खर्चीली एवं विशेषज्ञता-आधारित न्यायिक प्रक्रिया विकसित कर लोकतंत्र में न्याय तक पहुंच को सरल बनाया है।

मंत्री मेघवाल ने अधिकरण द्वारा अपनाई गई डिजिटल पहलों की सराहना करते हुए कहा कि ई-हियरिंग और वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग जैसी व्यवस्थाओं से दूरस्थ क्षेत्रों के करदाताओं को भी समयबद्ध न्याय उपलब्ध हो रहा है। कार्यक्रम के दौरान आयकर अपीलीय अधिकरण के गौरवशाली इतिहास के बारे में बताते हुए कहा कि इसकी स्थापना 25 जनवरी 1941 को हुई थी और यह देश का सबसे पुराना अर्ध-न्यायिक अधिकरण है, जिसे उसकी परिपक्व कार्यप्रणाली के कारण मातृ अधिकरण के रूप में भी जाना जाता है।

लखनऊ पीठ के संदर्भ में अवगत कराया गया कि इसकी स्थापना 5 मई 2000 को हुई थी तथा अगस्त 2000 में पहली सुनवाई प्रारंभ हुई। वर्तमान में लखनऊ में दो पीठें कार्यरत हैं, जो उत्तर प्रदेश के 16 जिलों से संबंधित आयकर अपीलों की सुनवाई कर रही हैं। बीते 25 वर्षों में लखनऊ पीठ द्वारा 16 हजार से अधिक आयकर अपीलों का निस्तारण कर करदाताओं को न्याय प्रदान किया गया है, जबकि वर्तमान में 1592 अपीलें लंबित हैं, जिनकी नियमित सुनवाई की जा रही है।

--आईएएनएस

विकेटी/डीकेपी

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