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दोस्ती, शक फिर धोखा...मिलने बुलाया और फिर गर्लफ्रेंड का गला दबा ले ली जान, 4 दिन बाद नाले में तैरती मिली लाश

पुलिस ने सुंदरनगरी निवासी 22 वर्षीय कोमल की हत्या का खुलासा कर दिया है। इस मामले में उसके दोस्त समेत दो आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। उनकी पहचान आसिफ और जुबैर के रूप में हुई है। आसिफ एक टैक्सी चालक है और मृतक लड़की के साथ गली में रहता था। वह कोमल को काफी समय से जानता था। लेकिन उसे शक था कि कोमल की बातचीत किसी और से हो रही है।

इस मामले में उसने 12 मार्च को धोखे से कोमल को घर छोड़ने के बहाने कार में बिठा लिया। रास्ते में उसकी गला घोंटकर हत्या कर दी गई। इसके बाद शव को छावला ले जाकर नाले में फेंक दिया, लेकिन चार दिन बाद पोल खुल गई।

कोमल 12 मार्च को लापता हो गई थी, जब वह कार्यालय से घर नहीं लौटी। फिर परिवार के लोग सबसे पहले अपने क्षेत्र के नंदनगरी थाने पहुंचे। परिजनों के अनुसार पुलिस ने बताया कि युवती क्षेत्र में नौकरी करती है। अगर आपको कोई समस्या है, तो वहां शिकायत करें। परिवार प्रीत विहार गया। वहां पुलिस ने कहा कि लास्ट लोकेशन जहां की आरही है, वहां शिकायत करें। उस दिन रात काफी हो गई तो 13 मार्च की सुबह वे पुनः सीमापुरी पहुंच गए। वहां गुमशुदगी की शिकायत दर्ज कराई गई। तब परिवार को आशा मिली। नंद नगरी उत्तर पूर्वी जिले में है, प्रीत विहार पूर्वी जिले में है और सीमापुरी पुलिस स्टेशन शाहदरा जिले में है।

कोमल के लापता होने की एफआईआर 13 मार्च को सीमापुरी थाने में दर्ज कराई गई थी, लेकिन परिवार को इस बारे में कुछ पता नहीं था। मृतका के रिश्तेदार अजय ने बताया कि 19 मार्च को छावला पुलिस को फोन आया कि एक लड़की का शव मिला है। आकर पहचान करना, क्योंकि आपने गुमशुदगी की एफआईआर भी दर्ज करा दी है। जब परिजन राव तुलाराम अस्पताल पहुंचे तो उन्होंने पोस्टमार्टम हाउस में कोमल के शव की पहचान की।

कोमल का शव आज जाफरपुर कला अस्पताल के पोस्टमार्टम हाउस में पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंप दिया गया। वहां से शाम को शव सुंदर नगर स्थित कोमल के घर पहुंचा। परिवार के सदस्यों की हालत खराब थी। वहाँ बड़ी भीड़ जमा हो गई थी। इसे देखते हुए एहतियात के तौर पर उस इलाके में बड़ी संख्या में पुलिस बल भी तैनात किया गया था। देर शाम कोमल के शव का उसी क्षेत्र के श्मशान घाट में अंतिम संस्कार कर दिया गया।

कॉल सेंटर में काम करने वाली कोमल की हत्या के मामले में परिवार ने आरोप लगाया है कि उसकी लाश को फेंकने के लिए उसके गले में पत्थर बांधा गया था। इसलिए यह पता नहीं चल सका। लेकिन कई दिनों बाद जब शव पानी में तैरता हुआ बाहर आया तो पुलिस को भी पता चला। छावला पुलिस को 16-17 मार्च की रात को शव मिला था। इसके बाद उन्होंने जांच शुरू की और एक दिन बाद 19 मार्च को परिवार से संपर्क किया।

द्वारका डीसीपी अंकित सिंह ने गिरफ्तारी के बारे में बताया कि आरोपियों की पहचान आसिफ और जुबैर के रूप में हुई है। दोनों आरोपी टैक्सी चलाते हैं और दोस्त हैं। आसिफ लड़की के पड़ोस में रहता है। घटना वाले दिन उसने कोमल को टैक्सी में बैठाया, रास्ते में किसी बात पर विवाद हो गया। इसके बाद गुस्से में आसिफ ने कोमल का गला घोंट दिया। इसके बाद जुबैर की मदद से शव को छावला नाले में ले जाकर फेंक दिया। ताकि किसी को उसके बारे में पता न चल सके।

आसिफ टैक्सी चलाता है, वह एयरपोर्ट जाता रहता है। इसलिए उसे मार्ग का पूरा ज्ञान था। वह छावला क्षेत्र के बारे में भी जानते थे। यह देखते हुए कि नाली में कहां फेंकना है, उसने वैसा ही किया। दिल्ली के विभिन्न इलाकों से गुजरते हुए वह एक कार लेकर सीधे छावला नाले में उसे फेंककर फरार हो गया।

कोमल जब लापता हो गई तो उसकी तलाश करते हुए परिजनों ने उसकी सहेली से पूछा तो उसने बताया कि वह आसिफ के साथ है। इसके बाद परिजनों ने आसिफ से पूछा तो उसने बताया कि वह उनके साथ कार में आया था, लेकिन बाद में उसे रास्ते में ही छोड़ दिया। उसके बाद कोमल कहां गई, मुझे नहीं पता। उसे लगा कि अगर लाश नहीं मिली तो पता ही नहीं चलेगा कि उसने हत्या की है।

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