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2024 में सरकार बनने के बाद से दूसरी बार रेल किराया बढ़ाया गया : कांग्रेस

नई दिल्ली, 22 दिसंबर (आईएएनएस)। कांग्रेस ने रेल किराया बढ़ाए जाने पर केंद्र सरकार को निशाने पर लिया है और रेलवे की बदहाल स्थिति के मद्देनजर रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव के इस्तीफे की मांग की।
2024 में सरकार बनने के बाद से दूसरी बार रेल किराया बढ़ाया गया : कांग्रेस

नई दिल्ली, 22 दिसंबर (आईएएनएस)। कांग्रेस ने रेल किराया बढ़ाए जाने पर केंद्र सरकार को निशाने पर लिया है और रेलवे की बदहाल स्थिति के मद्देनजर रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव के इस्तीफे की मांग की।

इंदिरा भवन स्थित कांग्रेस मुख्यालय में पत्रकार वार्ता करते हुए कांग्रेस नेता डॉ. अजय कुमार ने इसे आम जनता पर बोझ बढ़ाने वाला कदम करार देते हुए कहा कि केंद्र सरकार ने बिना किसी आधिकारिक घोषणा के चुपचाप किराया बढ़ा दिया और एक सर्कुलर के माध्यम से पत्रकारों को इसकी जानकारी दी गई।

उन्होंने आंकड़ों का हवाला देते हुए बताया कि यूपीए सरकार के कार्यकाल के अंत के समय रेल किराया 32 पैसे प्रति किलोमीटर था, जिसे मोदी सरकार ने 10 वर्षों में बढ़ाकर 66 पैसे प्रति किलोमीटर कर दिया है यानी इस दौरान रेल किराए में 107 प्रतिशत की भारी बढ़ोतरी हुई है।

कांग्रेस नेता ने बताया कि 2024 में सरकार बनने के बाद से दूसरी बार किराया बढ़ाया गया है। उन्होंने कहा कि रेलवे द्वारा यह दिखाने की कोशिश की जाती है कि प्रति किलोमीटर एक-दो पैसे की मामूली बढ़ोतरी की गई है, लेकिन आम जनता को रेल यात्रा के लिए औसतन 100-200 रुपए अतिरिक्त देने पड़ेंगे।

अजय कुमार ने वरिष्ठ नागरिकों को मिलने वाली छूट खत्म किए जाने पर भी तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने वरिष्ठ नागरिकों की जेब पर 8,600 करोड़ रुपए की डकैती डाली है। प्लेटफॉर्म टिकट की कीमत तीन रुपए से बढ़कर 50 रुपए तक पहुंच गई है और खाने की थाली 30 रुपए की जगह अब 120 रुपए में मिल रही है। कैग रिपोर्ट के अनुसार रेलवे में दिया जाने वाला खाना इंसानों के लायक नहीं है। पार्किंग में आधे घंटे से अधिक समय के लिए गाड़ी खड़ी करने पर 500 रुपए तक का शुल्क लिया जा रहा है।

रेलवे की सुरक्षा पर सवाल उठाते हुए डॉ. अजय कुमार ने कहा कि 2014 से अब तक 712 ट्रेन हादसे हो चुके हैं, जिनमें 768 लोगों की जान गई है। उन्होंने कटाक्ष किया कि सरकार 1.08 लाख करोड़ रुपए बुलेट ट्रेन पर खर्च कर रही है, लेकिन आम जनता की सुरक्षा के लिए जरूरी कवच प्रणाली के लिए बजट नहीं है। उन्होंने आंकड़े सामने रखते हुए बताया कि दस साल में केवल तीन प्रतिशत रेलवे लाइनों पर ही सुरक्षा कवच लग पाया है। आज लोग टॉयलेट के अंदर बैठकर यात्रा करने को मजबूर हैं।

उन्होंने महाकुंभ मेले के दौरान नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर हुई भगदड़ का जिक्र करते हुए कहा कि रेलवे ने 1,700 की क्षमता वाली बोगियों के लिए 9,600 टिकट बेच दिए, जो आपराधिक लापरवाही है। उन्होंने यह भी बताया कि कुछ समय पहले बीएसएफ के 1,200 जवानों ने खस्ताहाल बोगियों के कारण ट्रेन में चढ़ने से मना कर दिया था। उन्होंने मांग करते हुए कहा कि सुरक्षा कवच की व्यवस्था लागू करने को प्राथमिकता दी जाए। वरिष्ठ नागरिकों को रेल किराए में मिलने वाली छूट तुरंत बहाल की जाए।

--आईएएनएस

एसके/एबीएम

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