उदयपुर में कृषि मंत्री किरोड़ीलाल मीणा का बड़ा एक्शन, वीडियो में जानें मिलावटी खाद फैक्ट्री पर मारा छापा, सैंपल लेकर जांच शुरू

राजस्थान के कृषि मंत्री डॉ. किरोड़ीलाल मीणा ने गुरुवार को उदयपुर जिले के उमरड़ा क्षेत्र में स्थित एक खाद निर्माण इकाई पर औचक निरीक्षण कर बड़ी कार्रवाई की। यह फैक्ट्री पटेल फास्फोरस कंपनी के नाम से संचालित हो रही थी, जहां सिंगल सुपर फास्फेट (SSP) खाद में बड़े स्तर पर मिलावट की शिकायतें मिली थीं। मंत्री ने स्वयं फैक्ट्री पहुंचकर खाद के सैंपल लिए और लैब जांच के आदेश दिए।
फैक्ट्री में मिलावट की पुष्टि के संकेत
मौके पर मौजूद तकनीकी अधिकारियों और कृषि विभाग की टीम को लेकर मंत्री मीणा ने फैक्ट्री की मशीनरी, स्टॉक और उत्पादन प्रक्रिया की जांच की। प्रारंभिक निरीक्षण में सामने आया कि वहां तैयार की जा रही खाद में निर्धारित मानकों की अनदेखी की जा रही थी।
मंत्री ने कहा:
"खिलाड़ियों की तरह किसान भी देश की रीढ़ हैं। उन्हें खराब या मिलावटी खाद देना राष्ट्रद्रोह के समान है। दोषियों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।"
आसपास की फैक्ट्रियों में भी मारी दबिश
पटेल फास्फोरस फैक्ट्री की जांच के बाद मंत्री ने उमरड़ा औद्योगिक क्षेत्र की अन्य खाद निर्माण इकाइयों का भी निरीक्षण किया। उन्होंने साफ कहा कि जो भी फैक्ट्री खाद में मिलावट या गुणवत्ता से समझौता करती पाई गई, उसके खिलाफ लाइसेंस निरस्तीकरण से लेकर एफआईआर दर्ज करने तक की कार्रवाई की जाएगी।
किसानों को नुकसान की भरपाई कैसे?
राजस्थान के कई जिलों से मिल रही मिलावटी खाद की शिकायतों के बीच इस कार्रवाई को सरकार की सख्त नीति के रूप में देखा जा रहा है। मिलावटी खाद के कारण फसलों की पैदावार घटने, भूमि की गुणवत्ता खराब होने और किसानों को आर्थिक नुकसान की शिकायतें मिल रही थीं।
कृषि मंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि जांच में दोषी पाई गई कंपनियों से किसानों को हुए नुकसान की भरपाई के लिए आवश्यक कदम उठाए जाएं।
क्या बोले स्थानीय किसान?
मंत्री के छापे की खबर के बाद स्थानीय किसानों ने इसे साहसिक कदम बताते हुए कहा कि यह कार्रवाई सिर्फ एक फैक्ट्री तक सीमित नहीं रहनी चाहिए। पूरे राज्य में इस तरह के खाद उत्पादकों की व्यापक जांच होनी चाहिए ताकि किसानों को गुणवत्तापूर्ण उत्पाद मिल सकें।