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Rishikesh रामनवमी के दिन लक्ष्मण की चरण पादुका ने निकाली यात्रा 

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ऋषिकेश न्यूज़ डेस्क ।। रामनवमी पर तपोवन के प्राचीन सिद्धपीठ लक्ष्मण मंदिर में कार्यक्रम का आयोजन किया गया. भगवान राम के छोटे भाई लक्ष्मण की चरण पादुका यात्रा बैंड-बाजे के साथ निकाली गई। इस यात्रा में सैकड़ों श्रद्धालु शामिल हुए. तपोवन घाट पर लक्ष्मण के पैरों को विधिपूर्वक स्नान कराया गया।

बुधवार को लक्ष्मण मंदिर में आचार्य सुमित गौड़, आचार्य शुभम समेत नौ ब्राह्मणों ने अखंड रामायण का पाठ किया। अनुष्ठान के साथ रामायण पाठ का समापन हुआ। मंदिर परिसर में भजन-कीर्तन और बैंड बाजे के साथ लक्ष्मण की चरण पादुकाएं पालकी में निकाली गईं। नगर क्षेत्र में पालकी यात्रा निकाली गई। जुलूस मंदिर परिसर से शुरू होकर लक्ष्मण चौक होते हुए तपोवन घाट पहुंचा। शिव-पार्वती नृत्य श्रद्धालुओं के बीच आकर्षण का केंद्र रहा। यात्रा का जगह-जगह पुष्पवर्षा से स्वागत किया गया।

गंगाघाट पर स्नान के बाद मंदिर परिसर में चरण पादुका रखकर यात्रा का समापन किया गया। मंदिर के पुजारी महंत जगदीश शर्मा ने बताया कि लक्ष्मण भगवान राम के छोटे भाई लक्ष्मण शेषनाग के अवतार हैं। ब्रह्मा हत्या के पाप का प्रायश्चित करने के लिए लक्ष्मण ने तपोवन में सैकड़ों वर्षों तक तपस्या की। भगवान शिव ने उन्हें दर्शन देकर उनकी तपस्या समाप्त की। तभी से यह स्थान लक्ष्मण मंदिर के नाम से प्रसिद्ध हो गया। इस अवसर पर कथावाचक शिवस्वरूप नौटियाल, कथावाचक हिमांशु कंडवाल, केशव स्वरूप, आशीष शर्मा, दिनेश, मनीष, शूरोवीर चौहान, हेमलता डबराल, कविता कंडवाल, सुलोचना कपरुवाण, सुंदरी जोशी, शकुंतला असवाल, तारा देवी, शौर्य, रेंजना, रंजन, रे. , राधा आदि शामिल थे।

उत्तराखंड न्यूज़ डेस्क ।।

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