उत्तरप्रदेश न्यूज़ डेस्क अब अंतरराष्ट्रीय व राष्ट्रीय स्तर के खिलाड़ियों को तैयार किया जाएगा. इसके लिए रूपरेखा लगभग तय कर ली गई है. जिसके मुताबिक बोर्ड का गठन करने की योजना बनाई गई है. इसमें बीपीएड का संचालन करने वाले कॉलेजों के शिक्षकों को भी जगह दी जाएगी. इससे किसी भी खेल के लिए खिलाड़ियों की चयन प्रक्रिया को पारदर्शी भी बनाया जा सकेगा.
एलयू के शारीरिक शिक्षा विभाग में अध्ययनरत छात्रों को खेलों की प्रैक्टिकल प्रैक्टिस समेत ज्यादा सुविधाएं नहीं मिल पा रही हैं. इसके पीछे कारण शिक्षकों की कमी है. क्योंकि शारीरिक शिक्षा विभाग में नियमित तौर पर ही शिक्षक कार्यरत हैं. जिनके ऊपर बीपीएड और एमपीएड की कक्षाएं लेने की मुख्य जिम्मेदारी समेत पीएचडी कर रहे शोधार्थियों का मार्गदर्शन करना भी है. जिसकी वजह से उनका फोकस प्रैक्टिकल प्रैक्टिस पर कम रहता है. इसका खामियाजा छात्रों को उठाना पड़ता है. जिसे बीते महीनों में छात्रों ने प्रदर्शन कर उठाया भी था.
इसके बाद कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय ने छात्रों से व्यक्तिगत तौर पर बातचीत कर मामले की गहराई को समझा. साथ ही उन्होंने छात्रों को आश्वस्त किया था कि विश्वविद्यालय में खेल और खिलाडियों के हालात बदलेंगे. इसके मद्देनजर ही कई प्लान तैयार किए गए हैं. जिन पर जल्द अमल किया जाएगा ताकि बेहतर टीम और खिलाड़ी तैयार हों.
टीम में बेहतर खिलाड़ियों को ही जगह मिलेगी
एलयू के कुलपति प्रो. आलोक कुमार राय ने कहा कि टीम में अब खिलाडियों की चयन प्रक्रिया को पारदर्शी बनाया जाएगा. किसी भी खेल के टूर्नामेंट के लिए चुनी जाने वाली टीम में बेहतर खिलाड़ियों को ही जगह मिलेगी. ट्रायल में भी पूरी तरह से पारदर्शिता बरती जाएगी. इसके लिए बोर्ड का गठन किया जा रहा है. कुलपति ने बताया कि इसमें बीपीएड का संचालन करने वाले कॉलेजों के शिक्षकों को भी स्थान मिलेगा. जिससे किसी के साथ अन्याय न हो. यह बोर्ड ही खिलाड़ियों का चयन करेगा.
मुरादाबाद न्यूज़ डेस्क

