
झारखण्ड न्यूज़ डेस्क, जिले के शहरी और ग्रामीण क्षेत्र में तैनात स्पेशल पुलिस ऑफिसर यानी एसपीओ को बदला जा रहा है. इनकी संख्या 110 है. इसके लिए कार्य योजना तैयार की गई है. इसमें वैसे लोगों को शामिल किया गया है, जो अपने-अपने क्षेत्र में पुलिस को सूचना नहीं दे रहे हैं.
सूत्र बता रहे हैं कि पुलिस अब वैसे लोगों का नाम एसपीओ की सूची से हटाएगी, जिनका नाम तो है, लेकिन वे लोग पुलिस को किसी भी तरह से सूचना नहीं दे रहे हैं. नक्सली क्षेत्र में विशेष रूप से नक्सली गतिविधियों की जानकारी देने वालों के लिए पुलिस ने कार्य योजना तैयार की थी और इसके लिए ही एसपीओ को शामिल किया गया था. ये पुलिस को मदद पहुंचाते थे. इसके एवज में उन्हें पहले 3000 रुपये दिए जाते थे.
अभी राशि बढ़ाकर 7000 रुपये कर दी गई है. हाल के दिनों में पुलिस को जानकारी मिली कि कुछ ऐसे एसपीओ भी हैं, जिन्होंने सूचना देना बंद कर दिया है. उनके खाते में अब भी पैसे जा रहे हैं. लिहाजा पुलिस मुख्यालय के निर्देश पर वैसे एसपीओ की दोबारा समीक्षा की जा रही है, ताकि ऐसे लोगों को हटाकर उनके स्थान पर दूसरे की नियुक्ति की जाए. इस प्रक्रिया के अंतर्गत वैसे एसपीओ को नहीं हटाया जाएगा, जिनके परिवार के लोग नक्सली घटनाओं में मारे गए थे और वर्तमान में पुलिस की मददगार बने हुए हैं.
सोनारी में युवक पर हमले की होगी जांच
सोनारी के कागलनगर में पैसों के विवाद को लेकर हुए विनायक शर्मा और शिवा लहरी पर जानलेवा हमले में जांच के बाद कार्रवाई का आदेश दिया गया है. पिछले दिनों लाठी, डंडे और हॉकी से लैस लड़कों ने दोनेां पर हमला किया था. मामले में केस दर्ज होने के बाद जांच की जा रही है.
जमशेदपुर न्यूज़ डेस्क !!!