राजस्थान विधानसभा का मानसून सत्र 1 सितंबर से होगा शुरू, फुटेज में जानें कोचिंग रेगुलेशन और धर्मांतरण-विरोधी बिल पर छिडेगी बहस
राजस्थान विधानसभा का मानसून सत्र 1 सितंबर से शुरू होगा। राज्यपाल हरिभाऊ बागडे ने सोमवार दोपहर विधानसभा सत्र बुलाने की अधिसूचना जारी कर दी। अधिसूचना के बाद विधानसभा सचिवालय ने सभी विधायकों को सत्र की औपचारिक सूचना भेजने की प्रक्रिया शुरू कर दी है।
जानकारी के अनुसार, मानसून सत्र के दौरान राज्य की राजनीतिक और सामाजिक स्थिति से जुड़े कई अहम मुद्दों पर चर्चा होने की संभावना है। विपक्ष सरकार को महंगाई, बेरोजगारी, किसानों की समस्याओं और कानून-व्यवस्था जैसे मुद्दों पर घेरने की तैयारी में है, जबकि सरकार अपनी योजनाओं और उपलब्धियों को जनता के सामने रखने का प्रयास करेगी।
स्पीकर ने की तैयारियों की समीक्षा
विधानसभा अध्यक्ष वासुदेव देवनानी ने सत्र को लेकर तैयारियों की समीक्षा की। इस दौरान उन्होंने विधानसभा सचिवालय के अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सत्र के संचालन में अनुशासन और पारदर्शिता बनी रहनी चाहिए, ताकि जनता के हित से जुड़े विषयों पर प्रभावी चर्चा हो सके।
सत्र में हो सकते हैं तीखे मुकाबले
राजनीतिक जानकारों का मानना है कि मानसून सत्र के दौरान सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच तीखे आरोप-प्रत्यारोप देखने को मिल सकते हैं। विशेषकर कानून-व्यवस्था, बिजली संकट, जल संकट और शिक्षा-स्वास्थ्य सुविधाओं की स्थिति जैसे मुद्दे बहस के केंद्र में रह सकते हैं।
महत्वपूर्ण विधेयक पेश होने की संभावना
सूत्रों के मुताबिक, सरकार इस सत्र में कुछ महत्वपूर्ण विधेयक पेश कर सकती है। इनमें बुनियादी ढांचे के विकास, शिक्षा सुधार और ग्रामीण क्षेत्रों में स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूत करने से जुड़े प्रस्ताव शामिल हो सकते हैं।

