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विधानसभा में हंगामे के बीच मत्स्य क्षेत्र संशोधन विधेयक पास, एक्सक्लुसीव वीडियो में जानें मछली शिकार पर बढा जुर्माना

विधानसभा में हंगामे के बीच मत्स्य क्षेत्र संशोधन विधेयक पास, एक्सक्लुसीव वीडियो में जानें मछली शिकार पर बढा जुर्माना
विधानसभा में हंगामे के बीच मत्स्य क्षेत्र संशोधन विधेयक पास, एक्सक्लुसीव वीडियो में जानें मछली शिकार पर बढा जुर्माना

राजस्थान विधानसभा में सोमवार को हंगामे के बीच मत्स्य क्षेत्र संशोधन विधेयक पास हो गया। विधेयक के अंतर्गत मछली का अवैध शिकार करने पर जुर्माने की राशि में भारी वृद्धि की गई है। अब पहली बार अपराध करने पर जुर्माना 500 रुपए से बढ़ाकर 25 हजार रुपए कर दिया गया है। दूसरी बार अपराध करने पर जुर्माना 1000 रुपए से बढ़ाकर 50 हजार रुपए किया जाएगा।

विधानसभा में बिल पर बहस के दौरान कांग्रेस विधायकों ने जमकर हंगामा किया। नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने कानून-व्यवस्था और मत्स्य क्षेत्र में हो रही अवैध गतिविधियों पर विस्तृत बहस कराने की मांग की। उन्होंने कहा कि राज्य में मछली शिकार को रोकने के लिए सिर्फ जुर्माना बढ़ाना पर्याप्त नहीं है, बल्कि प्रशासनिक और निगरानी उपायों को भी सख्ती से लागू करने की जरूरत है।

बिल पास होने के बाद मुख्यमंत्री और संबंधित मंत्री ने कहा कि विधेयक का उद्देश्य मत्स्य संसाधनों की रक्षा करना और अवैध शिकार को रोकना है। उन्होंने बताया कि बढ़े हुए जुर्माने से लोगों में डर पैदा होगा और मछली संरक्षण में मदद मिलेगी।

सदन में हंगामे के दौरान विपक्ष ने आरोप लगाया कि सरकार केवल कागजी कार्रवाई कर रही है और वास्तविक सुरक्षा उपाय नहीं लागू कर रही। हंगामे के कारण कई बार सदन की कार्यवाही बाधित हुई। इसके बावजूद सरकार ने विधेयक पारित करवा लिया।

विशेषज्ञों का कहना है कि मत्स्य क्षेत्र में अवैध शिकार और मछली चोरी की घटनाएं लगातार बढ़ रही हैं। ऐसे में जुर्माने की राशि बढ़ाना एक प्रभावी कदम हो सकता है, लेकिन इसके साथ-साथ निगरानी और सख्त कार्रवाई भी जरूरी है।

विधानसभा में जारी हंगामे के बीच कुछ विधायकों ने कहा कि यह विधेयक किसानों और मत्स्यपालकों के हित में भी महत्वपूर्ण है। मछली पालन से जुड़े छोटे और मध्यम व्यवसायियों को सुरक्षित वातावरण देने के लिए कानून को प्रभावी बनाना आवश्यक है।

टीकाराम जूली ने इस मौके पर यह भी कहा कि कानून-व्यवस्था और संसाधनों की सुरक्षा के मुद्दों पर सदन में लगातार बहस होना चाहिए। उन्होंने विधेयक को पारित कराने के बावजूद सरकार से आग्रह किया कि अवैध शिकार पर वास्तविक नियंत्रण के लिए विशेष योजना बनाई जाए।

इस प्रकार, राजस्थान विधानसभा में मत्स्य क्षेत्र संशोधन विधेयक पारित हो गया है। मछली शिकार पर जुर्माने की राशि में भारी वृद्धि की गई है, लेकिन विपक्ष के हंगामे और कानून-व्यवस्था की मांगों के कारण सदन में बहस और विवाद जारी रहा। अब देखने वाली बात यह होगी कि बढ़े हुए जुर्माने और निगरानी उपायों से मत्स्य क्षेत्र में अवैध शिकार पर कितना प्रभाव पड़ता है।

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