भिवाड़ी में नकली नींद की दवा बनाने वाली फैक्ट्री का भंडाफोड़, वीडियो में देखें तीन केमिकल इंजीनियर गिरफ्तार
खैरथल-तिजारा जिले के भिवाड़ी शहर में स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (एसओजी) ने बड़ी कार्रवाई करते हुए नींद की नकली दवा बनाने वाली फैक्ट्री का पर्दाफाश किया है। इस मामले में तीन केमिकल इंजीनियरों को गिरफ्तार किया गया है। रविवार को की गई इस कार्रवाई में एसओजी ने फैक्ट्री से भारी मात्रा में केमिकल, तैयार टैबलेट और दवाएं बनाने की मशीनें जब्त की हैं। जब्त किए गए सामान की अनुमानित कीमत करीब 32.56 करोड़ रुपये बताई जा रही है।
एसओजी अधिकारियों के अनुसार, यह फैक्ट्री भिवाड़ी के रीको औद्योगिक क्षेत्र में एक मकान के अंदर गुप्त रूप से संचालित की जा रही थी। यहां नींद की नकली दवाएं तैयार की जा रही थीं, जिनकी सप्लाई गुजरात के रास्ते देश के कई राज्यों के अलावा अमेरिका और कनाडा जैसे देशों तक की जा रही थी। इस अवैध कारोबार से जुड़े नेटवर्क के अंतरराष्ट्रीय स्तर पर फैले होने की भी आशंका जताई जा रही है।
एडीजी (एसओजी) विशाल बंसल ने बताया कि इस पूरे मामले का खुलासा गुजरात एटीएस की ओर से मिले एक अहम इनपुट के बाद हुआ। गुजरात एटीएस टीम के पुलिस निरीक्षक पीयूष देसाई ने राजस्थान एसओजी को सूचना दी थी कि भिवाड़ी में एक फैक्ट्री में नींद की नकली दवाएं बनाई जा रही हैं। इस इनपुट के आधार पर एसओजी टीम ने योजना बनाकर फैक्ट्री पर छापा मारा।
छापेमारी के दौरान फैक्ट्री से करीब 22 किलो ऐसा केमिकल बरामद किया गया, जिसका इस्तेमाल नींद की दवा बनाने में किया जाता है। इसके अलावा बड़ी संख्या में टैबलेट, पैकिंग सामग्री और आधुनिक मशीनें भी जब्त की गईं। जांच में सामने आया कि फैक्ट्री ‘एपीएल फार्मा केम’ के नाम से संचालित की जा रही थी, ताकि इसे एक वैध दवा निर्माण इकाई का रूप दिया जा सके।
पुलिस के मुताबिक, गिरफ्तार किए गए तीनों आरोपी पेशे से केमिकल इंजीनियर हैं और उन्होंने अपनी तकनीकी जानकारी का इस्तेमाल कर नकली दवाओं का निर्माण शुरू किया था। ये दवाएं बाजार में असली दवाओं के नाम पर बेची जा रही थीं, जिससे लोगों की सेहत को गंभीर खतरा पैदा हो सकता था। प्रारंभिक जांच में यह भी सामने आया है कि आरोपी लंबे समय से इस अवैध धंधे में लिप्त थे।
एसओजी अब इस मामले में आगे की जांच कर रही है। अधिकारियों का कहना है कि यह पता लगाने का प्रयास किया जा रहा है कि इस नेटवर्क से और कौन-कौन लोग जुड़े हुए हैं तथा नकली दवाओं की सप्लाई किन-किन राज्यों और देशों में की गई। पुलिस यह भी जांच कर रही है कि इस रैकेट से अब तक कितनी मात्रा में नकली दवाएं बाजार में पहुंच चुकी हैं।
इस कार्रवाई को नकली दवाओं के खिलाफ एक बड़ी सफलता माना जा रहा है। एसओजी अधिकारियों का कहना है कि आम जनता की सेहत से खिलवाड़ करने वालों के खिलाफ आगे भी सख्त कार्रवाई जारी रहेगी।

