बिजली कर्मचारियों ने खैरथल तिजारा में रैली निकालकर किया प्रदर्शन
ज्ञापन में निजीकरण प्रक्रिया को तत्काल रोकने की मांग की गई। संघर्ष समिति का कहना है कि विभिन्न प्रक्रियाओं और मॉडलों के नाम पर बिजली उत्पादन, पारेषण और वितरण निगमों का निजीकरण किया जा रहा है, जिससे राज्य की सामरिक सुरक्षा और आर्थिक हितों के लिए गंभीर खतरा पैदा हो गया है। समिति ने एचएएम मॉडल, स्मार्ट मीटरिंग और ग्रिड संचालन में निजीकरण को जनता और किसानों के लिए हानिकारक बताते हुए इसे तत्काल रोकने का आह्वान किया।
संघर्ष समिति ने सरकार पर जनहित की अनदेखी करने और निजीकरण के माध्यम से केवल लाभ-हानि पर ध्यान केंद्रित करने का आरोप लगाया। उनका कहना है कि सार्वजनिक निगमों का उद्देश्य केवल लाभ कमाना नहीं है, बल्कि राज्य के लोगों और उद्योगों की सेवा करना है। सरकार द्वारा मांगें पूरी नहीं करने पर श्रमिक संघों ने आंदोलन को व्यापक करने की चेतावनी दी है.