
उत्तरप्रदेश न्यूज़ डेस्क प्रयागराज-वाराणसी रेल ट्रैक पर झूंसी-रामनाथ रेलवे स्टेशन के बीच गैंगमैन योगेंद्र प्रताप सिंह के ट्रेन से कटकर मौत के मामले की जांच शुरू हो गई है.
गैंगमैन के शव को काफी देर तक नहीं उठाया गया. हाल यह था कि हादसे के बाद विभूति एक्सप्रेस भी गुजर गई. इसे अमानवीयता बताकर साथी गैंगमैन और रेलवे यूनियन नेता आक्रोश जताते हुए कार्रवाई की मांग कर रहे हैं. डीआरएम वाराणसी रामाश्रय पांडेय ने पूरे मामले पर जांच के आदेश देते हुए रिपोर्ट मांगी है. डीआरएम ने घटना पर दुख जताते हुए कहा कि लापरवाही हुई है तो कार्रवाई जरूर की जाएगी. मामले में दो ट्रेनों के लोको पायलट भी जांच की जद में हैं. लापरवाही सामने आने पर उनके खिलाफ कार्रवाई होगी.
बहरिया थाना क्षेत्र के बिजलीपुर सिकंदरा के रहने वाले 40 वर्षीय योगेंद्र प्रताप सिंह पूर्वोत्तर रेलवे के बनारस मंडल में गैंगमैन पद पर कार्यरत थे. उनकी ड्यूटी झूंसी में गैंगमैन इंजीनियरिंग (गैंग संख्या 20) के पद पर थी. उन्हें ट्रैक पेट्रोलिंग के लिए भेजा गया था. अपराह्न तीन बजे झूंसी व रामनाथपुर रेलवे स्टेशन के बीच ओचई पोल संख्या 316-26 के पास बलिया-प्रयागराज मेमू पैसेंजर (05170) की चपेट में आने से शरीर दो टुकड़ों में बंट गया था. दर्दनाक हादसे के बाद गैंगमैन के शव के ऊपर से विभूति एक्सप्रेस भी गुजर गई थी.
इलाहाबाद न्यूज़ डेस्क