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Agra  डकैती के मामले में पहलवान का साला भी बनाया आरोपित

Chandigarh पंचकुला में चाकू की नोक पर डकैती: आइसक्रीम खरीदने के बहाने स्ट्रीट वेंडर को लूट लिया गया।

उत्तरप्रदेश न्यूज़ डेस्क   उमा देवी टेहल सिंह की बहू नहीं थी. इस खुलासे से उमा देवी द्वारा दर्ज कराया गया डकैती का मुकदमा खत्म नहीं हुआ है. सभी कार्रवाई उसी मुकदमे में की जा रही है. पुलिस ने डकैती के मुकदमे में पुरुषोत्तम पहलवान के साले भूपेंद्र पहलवान को भी आरोपित बनाया है. कब्जे के बाद उसे ही मौके पर सिक्योरिटी गार्ड के रूप में रखा गया था. पुलिस उसके कोर्ट से गैर जमानती वारंट ले चुकी है. वह भूमिगत है. उसकी तलाश में एक टीम जयपुर भेजी गई है.

पुलिस आयुक्त जे रविन्दर गौड ने बताया कि पुलिस इस मामले में दो पहलुओं से विवेचना कर रही है. सबसे पहले दो मुकदमे लिखे गए. पांच लोगों को जेल भेजा गया. जमीन पर कब्जा हुआ. वहां रह रहे रवि कुशवाह के घर का सामान दबंग लूटकर ले गए. इस घटना का मुकदमा उमा देवी ने दर्ज कराया था. इसी मुकदमे की विवेचना में यह बात सामने आई कि उमा देवी फर्जी है. वह टेहल सिंह की बहू नहीं है. पुलिस ने इसे भी प्रमाणित किया. उमा देवी, रवि कुशवाह सहित छह लोगों को जेल भेजा. फर्जी मृत्यु और वारिसान प्रमाण पत्र बनवाए गए थे. खतौनी में उमा देवी का नाम बढ़वाया गया था. प्रमाण पत्र नगर निगम और तहसील सदर से जारी हुए थे. प्रमाण पत्र बनाने में कौन-कौन जिम्मेदार है. इसकी जांच नगर निगम और प्रशासन के स्तर से चल रही है. दोनों विभागों से पुलिस को आरोपियों की सूची दी जाएगी. सूची मिलने के बाद पुलिस उन लोगों के खिलाफ कार्रवाई करेगी. जब तक प्रशासन यह तय नहीं करता कि जमीन किसकी है. मौके पर यथा स्थिति रहेगी. मैनपुरी निवासी मनोज यादव और प्रियांशु यादव पक्ष के तीन लोग मौके पर सीसीटीवी लगवाने आए थे. उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया. उनकी तरफ से एसआईटी को साफ निर्देश न किसी को बचाना है और न ही किसी को फंसाना है. इसमें पुलिस की छवि पहले ही बहुत धूमिल हो चुकी है. इस मामले में जो भी आरोपित है उसके नाम मुकदमे में खोले जाएं. उसे आरोपित बनाया जाए.

 

 

आगरा न्यूज़ डेस्क

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