वोटर लिस्ट पुनर्निरीक्षण पर तेज़ी से काम में जुटा चुनाव आयोग, विपक्ष ने उठाए सवाल
बिहार में आगामी विधानसभा चुनावों की तैयारियों के तहत मतदाता सूची के विशेष गहन पुनर्निरीक्षण (एसआईआर) अभियान को लेकर चुनाव आयोग ने अपनी गति तेज़ कर दी है। आयोग का दावा है कि 25 जुलाई तक सभी आवश्यक मतगणना पत्र जमा हो जाएंगे, जिससे मतदाता सूची को अद्यतन करने की प्रक्रिया पूरी हो सकेगी। हालांकि इस प्रक्रिया को लेकर विपक्ष लगातार हमलावर है और दस्तावेजों की जटिल मांगों को लेकर सवाल खड़े कर रहा है।
अब तक 80.11% प्रपत्र जमा
शनिवार की शाम 6:00 बजे तक के आधिकारिक रिकॉर्ड के मुताबिक, 80.11% फॉर्म जमा हो चुके हैं। चुनाव आयोग के अधिकारियों का कहना है कि शेष कार्य को निर्धारित समयसीमा के भीतर पूरा कर लिया जाएगा। आयोग ने सभी बीएलओ (बूथ लेवल ऑफिसर्स) को लक्ष्य तय कर सख्ती से फॉर्म भरवाने का निर्देश दिया है।
एक वरिष्ठ चुनाव अधिकारी ने बताया:
"हमारा लक्ष्य पारदर्शिता और निष्पक्षता सुनिश्चित करना है। हर पात्र नागरिक का नाम मतदाता सूची में दर्ज हो और फर्जी नाम हटाए जाएं – यह हमारी प्राथमिकता है।"
विपक्ष ने उठाए आपत्ति
विपक्षी दल इस प्रक्रिया पर गंभीर आपत्ति जता रहे हैं। कांग्रेस नेता राहुल गांधी, राजद नेता तेजस्वी यादव, और AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने मतदाता सूची अद्यतन में भेदभाव और परेशान करने वाली प्रक्रियाओं का आरोप लगाया है।
तेजस्वी यादव ने हाल ही में बयान देते हुए कहा:
"आयोग द्वारा मांगे जा रहे दस्तावेज़ इतने जटिल हैं कि आम आदमी के लिए उन्हें जुटाना संभव नहीं है। इससे गरीब और हाशिए के लोगों को सूची से बाहर किया जा रहा है।"
उन्होंने आगे कहा कि कुछ क्षेत्रों में बीएलओ राजनीतिक दबाव में काम कर रहे हैं और लोगों को जानबूझकर सूची से बाहर किया जा रहा है।
'सूत्र बनाम मूत्र' बयान बना विवाद का विषय
तेजस्वी यादव का "हम ऐसे सूत्र को मूत्र समझते हैं" बयान इस मुद्दे पर राजनीतिक और भाषाई गरमाहट बढ़ा गया। इस बयान पर विपक्ष के ही पप्पू यादव ने नाराजगी जताते हुए कहा:
"सूत्रों के जरिए ही प्रशासनिक गतिविधियों और भ्रष्टाचार का खुलासा होता है। ऐसे बयानों से लोकतंत्र की गरिमा को ठेस पहुंचती है।"
क्या कहता है आयोग?
चुनाव आयोग के सूत्रों ने दावा किया है कि किसी भी नागरिक को अनुचित तरीके से बाहर नहीं किया जा रहा है। प्रत्येक व्यक्ति को फॉर्म भरने, आपत्ति दर्ज कराने और अपने दस्तावेज़ प्रस्तुत करने का पूरा मौका दिया जा रहा है।