आगरा में तंत्र-मंत्र के नाम पर 11 लाख की ठगी, इलाज के अभाव में 15 वर्षीय किशोरी की मौत
सदर क्षेत्र से एक दर्दनाक और चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जहां एक परिवार को बीमार बेटी के इलाज के नाम पर तंत्र-मंत्र की आड़ में ठग लिया गया। कथित तांत्रिक और उसके साथियों ने परिवार को झांसे में लेकर पूजा-पाठ और तंत्र क्रिया के नाम पर 11 लाख रुपये ऐंठ लिए, लेकिन इलाज न मिलने से 15 वर्षीय किशोरी की मौत हो गई।
घटना के बाद जब परिवार को ठगी का अहसास हुआ, तो उन्होंने स्थानीय थाने में शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने 5 आरोपियों के खिलाफ केस दर्ज किया है, जिनमें से 4 आरोपी बिजनौर जिले के निवासी हैं।
ऐसे दिया गया झांसा
पीड़ित परिवार की बेटी लंबे समय से बीमार चल रही थी। परिजनों ने उसे कई डॉक्टरों को दिखाया, लेकिन जब राहत नहीं मिली, तो किसी परिचित के जरिए कथित तांत्रिक से संपर्क किया। तांत्रिक ने बीमारी को ऊपरी बाधा और काला जादू का असर बताकर डराया और पूजा-पाठ कराने की सलाह दी।
इसके बाद घर में कई दिनों तक तंत्र क्रिया के नाम पर पूजा करवाई गई और परिवार से किस्तों में करीब 11 लाख रुपये वसूले गए। इसी दौरान किशोरी की हालत लगातार बिगड़ती गई, लेकिन तांत्रिक परिवार को लगातार “जल्दी सुधार होगा” कहकर भ्रमित करता रहा।
इलाज के अभाव में गई जान
बीमार बच्ची को तांत्रिक के झांसे में आकर अस्पताल नहीं ले जाया गया। जब उसकी तबीयत अत्यधिक बिगड़ी, तब तक बहुत देर हो चुकी थी। किशोरी की इलाज के अभाव में मौत हो गई। बेटी की मौत के बाद परिजनों को ठगी का अहसास हुआ और उन्होंने पुलिस से संपर्क किया।
पुलिस कर रही आरोपियों की तलाश
पुलिस ने परिजनों की तहरीर पर पांच आरोपियों के खिलाफ IPC की संबंधित धाराओं में केस दर्ज कर लिया है। पुलिस के अनुसार, चार आरोपी बिजनौर के निवासी हैं और एक स्थानीय व्यक्ति है, जिसने तांत्रिक से परिचय कराया था। सभी की तलाश की जा रही है और जल्द गिरफ्तारी की बात कही जा रही है।
प्रभारी निरीक्षक सदर ने बताया:
“यह मामला बेहद संवेदनशील है। ठगी के साथ-साथ एक बच्ची की जान गई है। हमने टीम गठित कर आरोपियों की तलाश तेज कर दी है। जो भी दोषी होगा, उसे बख्शा नहीं जाएगा।”
जनजागरूकता की जरूरत
यह मामला एक बार फिर इस बात की पुष्टि करता है कि समाज में तंत्र-मंत्र, झाड़-फूंक और अंधविश्वास के कारण कई निर्दोष लोग शिकार बन रहे हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि बीमारी की स्थिति में स्वास्थ्य सेवा की अनदेखी करना जानलेवा हो सकता है, और इसके लिए जनजागरूकता अभियान चलाना आवश्यक है।