केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान को बम से उड़ाने की धमकी देने वाला आरोपी मोहम्मद मिराज गिरफ्तार, पुलिस जांच में जुटी
लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के अध्यक्ष और केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान को सोशल मीडिया पर बम से उड़ाने की धमकी देने वाले युवक मोहम्मद मिराज को बिहार के बेगूसराय जिले से रविवार को गिरफ्तार कर लिया गया है। धमकी के बाद राजनीतिक हलकों में हड़कंप मच गया था। मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए आरोपी को हिरासत में लिया और अब उससे पूछताछ की जा रही है।
इंस्टाग्राम पर की थी धमकी
मामले की शुरुआत उस समय हुई जब चिराग पासवान के इंस्टाग्राम पोस्ट पर एक आपत्तिजनक और धमकी भरा कमेंट सामने आया। उस कमेंट में आरोपी मिराज ने उन्हें बम से उड़ाने की बात कही थी। सोशल मीडिया पर इस तरह की धमकी मिलने के बाद चिराग पासवान की सुरक्षा को लेकर चिंता जताई जाने लगी।
इसके बाद चिराग के सहयोगियों ने तुरंत इसकी सूचना संबंधित पुलिस थाने और साइबर सेल को दी। मामले को गंभीरता से लेते हुए पुलिस ने साइबर ट्रैकिंग और तकनीकी विश्लेषण के जरिए आरोपी की पहचान की और फिर बेगूसराय से उसकी गिरफ्तारी की पुष्टि की।
कौन है आरोपी मोहम्मद मिराज?
पुलिस सूत्रों के अनुसार, मोहम्मद मिराज बेगूसराय जिले का निवासी है और उसकी उम्र लगभग 20 से 25 वर्ष के बीच है। शुरुआती जांच में सामने आया है कि मिराज सोशल मीडिया पर काफी सक्रिय है, लेकिन उसका कोई आपराधिक इतिहास अब तक सामने नहीं आया है। हालांकि पुलिस यह जानने में जुटी है कि क्या यह धमकी किसी संगठित साजिश का हिस्सा थी या फिर यह सिर्फ एक ‘स्टंट’ या पब्लिसिटी पाने का प्रयास था।
राजनीतिक हलकों में चिंता
घटना के बाद बिहार की राजनीति में भी हलचल देखने को मिली। एनडीए के नेताओं ने इस धमकी को लेकर चिंता जताई है और चिराग पासवान की सुरक्षा और साइबर अपराधों पर कठोर कार्रवाई की मांग की है। भाजपा और जदयू के नेताओं ने इसे लोकतांत्रिक व्यवस्था के खिलाफ बताते हुए दोषी को कड़ी सजा देने की बात कही है।
वहीं, चिराग पासवान ने खुद इस मामले को लेकर बयान दिया कि "इस तरह की धमकियां मुझे डराने के लिए नहीं, बल्कि और मजबूती से जनता की सेवा के लिए प्रेरित करती हैं।" उन्होंने बिहार पुलिस और केंद्र सरकार के गृह मंत्रालय से कड़ी कार्रवाई की मांग की।
आगे क्या?
फिलहाल आरोपी मिराज पुलिस हिरासत में है और उससे गहन पूछताछ की जा रही है। पुलिस यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि उसके पीछे किसी राजनीतिक या कट्टरपंथी संगठन का हाथ तो नहीं है। साथ ही उसके मोबाइल और सोशल मीडिया अकाउंट की भी फॉरेंसिक जांच की जा रही है।