बिहार में वोटर लिस्ट सत्यापन पर चुनाव आयोग की सख्ती, 1 सितंबर तक जमा करें दस्तावेज – मुख्य चुनाव आयुक्त ने दिया स्पष्ट संदेश
बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण अभियान के तहत चुनाव आयोग ने मतदाता दस्तावेज जमा करने की अंतिम तिथि 1 सितंबर 2025 निर्धारित कर दी है। साथ ही, गणना फार्म (Enumeration Form) भरने की अंतिम तिथि 25 जुलाई तय की गई है। इस बाबत मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने स्पष्ट किया कि शुद्ध और त्रुटिरहित वोटर लिस्ट सशक्त लोकतंत्र की बुनियाद है।
2003 की वोटर लिस्ट में शामिल मतदाताओं को राहत
चुनाव आयोग की ओर से यह भी स्पष्ट किया गया है कि जो मतदाता 2003 की वोटर लिस्ट में पहले से शामिल हैं, उन्हें पुनः कोई दस्तावेज जमा करने की आवश्यकता नहीं है। ऐसे मतदाताओं की पहचान आयोग के पास उपलब्ध रिकॉर्ड और पूर्व सूची के आधार पर की जाएगी।
क्या करना होगा नए या संशोधन चाहने वाले मतदाताओं को?
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नए मतदाता जो पहली बार पंजीकरण कराना चाहते हैं, उन्हें आयु, पहचान और निवास प्रमाण पत्र जैसे दस्तावेज 1 सितंबर 2025 तक संबंधित बीएलओ को या ऑनलाइन माध्यम से जमा करने होंगे।
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जिन मतदाताओं को अपने नाम, पता, उम्र या अन्य विवरण में सुधार कराना है, उन्हें भी तय तिथि तक आवश्यक दस्तावेज जमा करने होंगे।
कैसे जमा करें दस्तावेज?
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ऑनलाइन माध्यम: www.nvsp.in पोर्टल पर लॉग इन कर दस्तावेज अपलोड किए जा सकते हैं।
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मोबाइल ऐप: Voter Helpline ऐप के जरिए भी पंजीकरण और दस्तावेज जमा की सुविधा उपलब्ध है।
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बीएलओ के माध्यम से: अपने क्षेत्र के बूथ लेवल ऑफिसर (BLO) को दस्तावेज सौंप सकते हैं।
मुख्य चुनाव आयुक्त का संदेश
मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने कहा:
"एक पारदर्शी और सशक्त लोकतंत्र के लिए जरूरी है कि मतदाता सूची पूरी तरह से स्वच्छ हो। हम चाहते हैं कि हर पात्र नागरिक का नाम सूची में हो और अपात्र या फर्जी नामों को हटाया जाए। इससे न सिर्फ मतदाता का अधिकार सुरक्षित होगा, बल्कि लोकतांत्रिक प्रक्रिया में लोगों का भरोसा भी मजबूत होगा।"
मतदाताओं से की गई अपील
आयोग ने सभी पात्र नागरिकों से अपील की है कि वे समय रहते अपने दस्तावेज जमा करें और यदि उनका नाम मतदाता सूची में नहीं है या उसमें त्रुटि है, तो 25 जुलाई तक गणना फार्म भरकर अपनी जानकारी अपडेट करवाएं।