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बिहार की यूथ आइकन चेतना झांब ने थामा जन सुराज पार्टी का दामन, बोलीं- “नेता नहीं, जनसेवक बनने आई हूं”

 

बिहार की चर्चित युवा उद्यमी और सामाजिक कार्यकर्ता चेतना झांब ने अब अपने जीवन को एक नई दिशा देने का फैसला किया है। शुक्रवार को उन्होंने प्रशांत किशोर की अगुवाई वाली जन सुराज पार्टी में औपचारिक रूप से शामिल होकर राजनीतिक पारी की शुरुआत की। इस मौके पर पार्टी प्रमुख प्रशांत किशोर और अध्यक्ष उदय सिंह स्वयं मौजूद रहे।

पार्टी जॉइन करते वक्त चेतना झांब ने कहा कि वह राजनीति में नेता बनने नहीं, बल्कि जनता की सेवा करने के उद्देश्य से आई हैं। उन्होंने यह विशेष पल अपने फेसबुक अकाउंट पर साझा करते हुए लिखा:

"नेता नहीं, जनसेवक बनने आई हूं। बदलाव की शुरुआत हो चुकी है— जनता के लिए, समाज के लिए, अपने बिहार के लिए।"

कौन हैं चेतना झांब?

चेतना झांब बिहार की युवा उद्यमियों में एक चर्चित नाम रही हैं। उन्होंने अपने दम पर न सिर्फ एक सफल व्यवसाय खड़ा किया, बल्कि सामाजिक क्षेत्र में भी सक्रिय योगदान दिया है। महिला सशक्तिकरण, शिक्षा और ग्रामीण क्षेत्रों में स्वावलंबन को बढ़ावा देने के लिए उनकी पहल को कई मंचों पर सराहना मिली है।

'यूथ आइकन' के रूप में उनकी पहचान खासतौर पर युवा वर्ग के बीच मजबूत रही है। उन्होंने बिहार के सुदूर इलाकों में जाकर महिलाओं के लिए प्रशिक्षण केंद्र, स्वरोजगार योजनाएं और कैरियर काउंसलिंग कार्यक्रम चलाए हैं। साथ ही वह ‘बेटी पढ़ाओ-बेटी बढ़ाओ’ जैसी मुहिम से भी सक्रिय रूप से जुड़ी रही हैं।

जन सुराज पार्टी में आने का क्या है मतलब?

प्रशांत किशोर की जन सुराज पार्टी बिहार में एक साफ-सुथरी और जनभावनाओं से जुड़ी राजनीति का दावा करती रही है। चेतना झांब जैसी युवा और सक्रिय सामाजिक कार्यकर्ता का पार्टी में आना, संगठन के लिए नई ऊर्जा और व्यापक जनसंपर्क का माध्यम बन सकता है।

पार्टी अध्यक्ष उदय सिंह ने भी चेतना के शामिल होने को "बदलाव की दिशा में एक सकारात्मक कदम" बताया और कहा कि "ऐसे युवा चेहरों की मौजूदगी बिहार की राजनीति को नई दिशा देगी।"

क्या है आगे की योजना?

सूत्रों के अनुसार, चेतना झांब जल्द ही बिहार के विभिन्न जिलों में जन संवाद यात्राएं शुरू करेंगी और पार्टी की नीतियों को जन-जन तक पहुंचाएंगी। साथ ही, वे विशेष रूप से युवाओं और महिलाओं को जोड़ने पर ध्यान केंद्रित करेंगी।