Bihar News: बिहार चुनाव से पहले वोटर लिस्ट के स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन अभियान को लेकर पटना से दिल्ली तक बवाल; तेजस्वी यादव का बड़ा बयान
बिहार में विधानसभा चुनावों से पहले वोटर लिस्ट को लेकर स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन अभियान के मुद्दे पर बड़ा विवाद छिड़ गया है। इस अभियान को लेकर पटना से लेकर दिल्ली तक राजनीतिक हलचल तेज हो गई है। इस बीच, राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने एक बड़ा बयान दिया है, जिसने बिहार की राजनीति में एक नया हड़कंप मचा दिया है।
तेजस्वी यादव का आरोप
तेजस्वी यादव ने वोटर लिस्ट में गड़बड़ी और रिवीजन अभियान के पीछे केंद्र सरकार और नीतीश सरकार पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है कि यह अभियान राजनीतिक लाभ लेने के लिए चलाया जा रहा है। तेजस्वी ने दावा किया कि वोटर लिस्ट में बड़े पैमाने पर गड़बड़ी की जा रही है, जिससे चुनाव में धांधली और गुमनाम वोटिंग हो सकती है।
तेजस्वी यादव ने यह भी कहा कि चुनाव आयोग की निगरानी में हो रहे इस अभियान में पारदर्शिता की कमी है। उन्होंने यह आरोप भी लगाया कि वोटर लिस्ट में नाम जोड़ने और हटाने के दौरान खामियां और धोखाधड़ी हो रही है, जिसका फायदा सरकार अपनी सत्तावादी राजनीति के लिए उठा सकती है।
वोटर लिस्ट में गड़बड़ी का मुद्दा
इस मुद्दे पर तेजस्वी यादव का कहना था कि सरकार ने वोटर लिस्ट के रिवीजन अभियान का फायदा उठाकर अपनी पार्टी के समर्थकों के नाम जोड़ने और विपक्षी दलों के समर्थकों के नाम हटा दिए हैं। इस अभियान को प्रामाणिकता की कमी के कारण विवादों का सामना करना पड़ रहा है, और यही कारण है कि यह मुद्दा अब राष्ट्रीय चर्चा का विषय बन गया है।
बिहार में चुनावी माहौल गर्म
तेजस्वी यादव का यह बयान बिहार की राजनीतिक हवा को और गरमा सकता है, खासकर तब जब राज्य में विधानसभा चुनाव के लिए तारीखें नजदीक आ रही हैं। इससे पहले, कई राजनीतिक दलों ने वोटर लिस्ट में गड़बड़ी और मतदाता पहचान प्रक्रिया को लेकर अपनी चिंता व्यक्त की थी। भा.ज.पा. और राजद जैसे दल इस मुद्दे को अपने-अपने तरीके से उठा रहे हैं।
क्या है स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन अभियान?
यह स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन अभियान वोटर लिस्ट की जांच और अद्यतन के लिए शुरू किया गया है। इस अभियान का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि वोटर लिस्ट में कोई भी नाम मिसिंग न हो और सभी पात्र मतदाताओं का नाम सही तरीके से सूचीबद्ध किया जाए। साथ ही, यह अभियान यह भी सुनिश्चित करेगा कि पुराने या मृत मतदाताओं के नाम सूची से हटा दिए जाएं।
मुख्य बिंदु:
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तेजस्वी यादव का आरोप है कि रिवीजन अभियान राजनीतिक लाभ के लिए चलाया जा रहा है।
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तेजस्वी ने कहा कि वोटर लिस्ट में गड़बड़ी हो रही है, जिससे चुनाव में धांधली हो सकती है।
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यह मुद्दा बिहार की राजनीति में गर्म बहस का कारण बन गया है और कई राजनीतिक दल इसमें शामिल हो गए हैं।