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Sachin Tendulkar :आज है मास्टर ब्लास्टर का जन्मदिन,घायल होकर भी कहा था “मैं खेलेगा”

 

मास्टर ब्लास्टर, क्रिकेट के भगवान, आदि कई नामो से मशहूर सचिन तेंदुलकर का आज जन्मदिवस है। जेंटलमेन का खेल कहे जाने वाले अंग्रेजो के इस खेल में जब सचिन ने अपनी बल्लेबाजी से दिव्यता हासिल की,तो न केवल देश बल्कि पूरी दुनिया के हर कोने में उनके नाम की गूँज सुनाई देने लगी। क्रिकेट के भगवान कहे जाने वाले भारत रत्न सचिन का आज 48 वा जन्मदिन है। और इस मौके पर देश दुनिया के तमाम कोनो से उनके चाहने वाले इस दिन का मन रहे है।

भारतीय टीम के लिए एक मैच भी खेलने के लिए मिल जाए तो ये हर खिलाड़ी के लिए एक बहुत ख़ास पल होता है। क्रिकेट के भगवान सचिन को हालांकि ये ख़ास पल 24 साल तक लगातार अनुभव करने को मिले। बहरहाल आज बात करते है सचिन के पाकिस्तान के दौरे के उस लम्हे की बात को,जिसका जिक्र सचिन खुद कम ही करते है,लेकिन उनके साथी हमेशा करते है।

भारतीय पहले इतनी मजबूत और बेहतरीन नहीं हुआ करती थी,जितनी आज है। तब मैच बराबरी का हुआ करता था,और कई बार भारतीय टीम को हार का सामना भी करना पड़ता था। खैर साल 1989 की बात है,भारतीय का पकिस्तान के दौरे पर थी।

टीम के साथ एक 16 साल का छोटा सा बालक भी था,जो प्रतिभा का कितना धनी है,इसका अंदाजा संभवतः उस समय किसी को नहीं था। पाकिस्तान की गेंदबाजी हर दौर में सुर्खियों में रही है,और फिर उस दौर में तो वसीम अकरम, वकार यूनुस और आज के वहां के प्रधानमंत्री इमरान खान की तिकड़ी,बल्लेबाजों को हैरान परेशां कर के रख देती थी।

पाकिस्तान के खिलाफ सचिन ने अपना डेब्यू किया। और पहले मैच के दूसरी पारी में अर्धशतक भी जड़। हालाँकि कमाल तो सचिन ने चौथे मैचमे किया,जब भारतीय टीम पाकिस्तानी गेंदबाजों के सामने फ़ैल गयी थी,तो बैटिंग के दोनों छोर पर थे सचिन और नवजोत सिंह सिद्धू। टीम 38 राण पर अपने चार विकेट गँवा चुकी थी,ऐसे में एक मजबूत पार्टनरशिप की सख्त जरुरत थी।

मास्टर ब्लास्टर जब खेलने उतरे,तो वकार यूनुस की एक गेंद थोड़े ही देर में सीढ़ी उनकी नाक पर जा लगी। दूसरे छोर पर सिद्धू और मेडिकल टीम तुरंत सचिन के मदद के लिए आये। जमीन पर घायल पड़े सचिन को जब पवेलियन ले जाने के लिए स्टाफ आया, तो सचिन ने अपनी टूटी फूटी हिंदी में कहा “मैं खेलेगा ।   

इसके बाद जो हुआ,वो तो दुनिया जानती है। सचिन ने वकार की अगली ही गेंद पर चौका जड़ा और सिद्धू के साथ मिलकर शतकीय साझेदारी की। इस मैच में सचिन ने 57 रन बनाय। और इस जूनून के साथ अपने करियर में 100 शतक और अनगिनत रिकॉर्ड बनाये। खैर क्रिकेट के भगवान सचिन को बल्लेबाजिओ से इतर उनके स्वभाव के लिए भी जाना जाता है। अपने 24 साल के अंतर्राष्ट्रीय करियर में सचिन को कभी स्लेजिंग,लड़ाई करते हुए या किसी विवाद में पड़ते हुए नहीं देखा गया। और यहीं अंदाज उन्हें ख़ास बनाता है, भारत रत्न बनाता है।

हैप्पी बर्थडे सचिन।