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Chaitra navratri 2021 day 5: नवरात्रि का पांचवा दिन स्कंदमाता को है समर्पित, आज इन मंत्रों से करें देवी मां की स्तुति

 

नवरात्रि का महापर्व चल रहा हैं और आज यानी 17 अप्रैल दिन शनिवार को नवरात्रि का पांचवा दिन हैं इस दिन मां दुर्गा के पंचम स्वरूप मां स्कंदमाता की पूजा की जाती हैं धार्मिक मान्यताओं के मुताबिक स्कंदमाता की पूजा करने से भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूरी हो जाती हैं संतान प्राप्ति के लिए स्कंदमाता की पूजा करना लाभकारी माना जाता हैं देवी मां को लाल रंग प्रिय हैं इसलिए इनकी पूजा में लाल रंग के पुष्प अर्पित करना जरूरी हैं। देवी मां स्कंदमाता की गोद में भगवान स्कंद बाल रूप में विराजित हैं स्कंद मातृस्वरूपिणी देी की चार भुजाएं हैं माता का वर्ण पूर्ण शुभ्र है और कमल के पुष्प पर विराजित रहती हैं इन्हें विद्यावाहिनी दुर्गा देवी भी कहा जाता हैं। तो आज हम आपको देवी मां स्कंदमाता के प्रभावशाली मंत्र बताने जा रहे हैं तो आइए जानते हैं।

स्कंदमाता की पूजन विधि—
सबसे पहले मां स्कंदमाता को नमन करें। पूजा में कुमकुम, अक्षत, पुष्प, फल आदि से पूजा करें। चंदन लगाएं, माता के सामने घी का दीपक जलाएं। मां को केले का भोग लगाएं। मंत्र सहित मां की पूजा करें। मां स्कंद माता की कथा पढ़ें या सुनें। माता की आरती जरूर गाएं। अंत में सभी को प्रसाद बांटें।

पौराणिक कथा के मुताबिक ऐसा कहा जाता हैं कि एक तारकासुर नामक राक्षस था जिसकी मृत्यु केवल शिव पुत्र से ही संभव थी। तब मां पार्वती ने अपने पुत्र भगवान स्कंद को युद्ध के लिए प्रशिक्षित करने हेतु स्कंद माता का रूप लिया और उन्होंने भगवान स्कंद को युद्ध के लिए प्रशिक्षित किया था। स्कंदमाता से युद्ध प्रशिक्षिण लेने के बाद भगवान स्कंद ने तारकासुर का वध किया।मां स्कंदमाता का स्तुति मंत्र—
या देवी सर्वभूतेषु मां स्कन्दमाता रूपेण संस्थिता।
नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः॥