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'विकसित भारत-जी राम जी' के तहत अब साल भर मजदूरों को मिलेगा काम: जगदंबिका पाल

 

सिद्धार्थनगर, 22 दिसंबर (आईएएनएस)। भाजपा सांसद जगदंबिका पाल ने सोमवार को आईएएनएस से बातचीत के दौरान 'विकसित भारत- जी राम जी' को लेकर अपनी बात रखी। उन्होंने कहा कि यह प्रधानमंत्री मोदी के विकसित भारत संकल्प को पूरा करने की कड़ी में एक अहम कदम है। गांवों के मजदूरों को अब मनरेगा में सिर्फ 100 दिन का काम नहीं, बल्कि 125 दिन का रोजगार मिलेगा। साथ ही, अब उनके वेतन की गारंटी भी होगी। पहले ऐसा नहीं होता था, लेकिन अब यह भी संशोधन किया गया है।

पाल ने कहा कि यह कानून सिर्फ रोजगार ही नहीं, बल्कि गांव की प्राथमिकताओं को भी ध्यान में रखता है। इससे किसानों के लिए भी मजदूरों की सुविधा सुनिश्चित होगी। पहले जब खेतों में कटाई, बुवाई या सिंचाई का समय आता था, तब मनरेगा के मजदूर उस समय काम नहीं कर पाते थे, जिससे किसानों को काम में दिक्कत होती थी। अब ऐसा नहीं होगा, मजदूरों को जरूरी समय पर किसान के काम में लगाया जाएगा। इसका मतलब यह है कि पूरे साल मजदूरों को काम मिलेगा और गांव का विकास भी होगा।

उन्होंने यह भी कहा कि यही महात्मा गांधी का सपना था और इस संशोधन के माध्यम से आत्मनिर्भर गांव और सही मायने में स्वराज का सपना पूरा होगा।

इसके साथ ही उन्होंने वंदे मातरम पर हुए यूपी विधानसभा के हालिया विवाद की भी आलोचना की। उन्होंने कहा कि विधानसभा में जब वंदे मातरम पर चर्चा हो रही थी, तो समाजवादी पार्टी के कुछ सदस्य बिना किसी प्रस्ताव के सदन में व्यवधान पैदा कर रहे थे। यह उनके लिए सही नहीं है। पाल ने इसे देश की आजादी की भावना के खिलाफ बताया। उनका कहना है कि वंदे मातरम पूरे देश को जोड़ने वाला एक मंत्र है, यह कश्मीर से कन्याकुमारी तक लोगों को एक सूत्र में पिरोता है।

पाल ने कहा कि वंदे मातरम पर चर्चा प्रधानमंत्री की पहल से लोकसभा और राज्यसभा दोनों में हुई, और इसमें 90 से ज्यादा सांसदों ने हिस्सा लिया। उन्होंने कहा कि यह दिखाता है कि वंदे मातरम आज भी लोगों को जोड़ने और देशभक्ति की भावना जगाने में कितना असर रखता है। वहीं, जिन लोगों ने इसका विरोध किया, जैसे समाजवादी पार्टी के सदस्य, उनका चेहरा उजागर हो गया। उनका कहना है कि ये लोग केवल तुष्टिकरण की राजनीति करते हैं और देश की भावनाओं को समझने की बजाय अपना विरोध दिखा रहे हैं।

--आईएएनएस

पीआईएम/डीएससी