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तेजपत्ते की चाय स्वाद और सेहत का खजाना, वजन घटाने से अनिद्रा दूर करने तक में कारगर

 

नई दिल्ली, 21 दिसंबर (आईएएनएस)। भारतीय रसोई का अभिन्न अंग तेजपत्ता न केवल भोजन का स्वाद बढ़ाता है, बल्कि इसकी चाय स्वास्थ्य के लिए अमृत समान है। सर्दियों में तेजपत्ते की चाय का सेवन खास तौर पर फायदेमंद होता है। यह वजन घटाने से अनिद्रा दूर करने तक में कारगर है।

तेजपत्ते की चाय एक हर्बल पेय है, जो स्वाद और सेहत का अनोखा संगम है। हर घर में आसानी से मिलने वाला यह मसाला अपनी खुशबू और गुणों से कई बीमारियों को दूर रखता है। औषधीय गुणों से भरपूर तेजपत्ते की चाय एक-दो नहीं बल्कि कई फायदे देती है।

आयुर्वेदाचार्य बताते हैं कि तेजपत्ते की चाय बनाने का तरीका बहुत आसान है। एक गिलास पानी में 2-3 तेजपत्ते डालें। इसमें स्वाद और फायदे बढ़ाने के लिए दालचीनी की स्टिक, अदरक का टुकड़ा या नींबू का रस भी मिला सकते हैं। इसे 5-10 मिनट तक उबालें। उबाल आने के बाद 2-3 मिनट ढककर रखें। छानकर इसमें शहद मिलाकर गुनगुना पीएं। रोजाना सुबह खाली पेट या शाम को पीने से सबसे ज्यादा फायदा होता है।

इस चाय के सेवन से कई स्वास्थ्य लाभ मिलते हैं। यह मेटाबॉलिज्म तेज करती है और फैट बर्न करने में मदद करती है। पाचन तंत्र को मजबूत बनाती है, जिससे अपच, गैस और कब्ज जैसी समस्याओं में राहत मिलती है। इसमें मौजूद एंटी-ऑक्सीडेंट इम्यूनिटी बढ़ाते हैं और सर्दी-जुकाम से बचाव करते हैं। इसके अलावा, यह तनाव कम करती है और अच्छी नींद लाने में सहायक है। अनिद्रा की समस्या वाले लोगों के लिए रात को पीना फायदेमंद है।

तेजपत्ते की चाय ब्लड शुगर लेवल नियंत्रित रखती है, जो डायबिटीज के मरीजों के लिए अच्छा है। यह त्वचा के लिए भी लाभकारी है। इसके सेवन से मुहांसे और झुर्रियां कम होती हैं। यह सांस की समस्याओं में राहत देती है और शरीर से विषाक्त पदार्थ निकालती है।

तेजपत्ता हर भारतीय रसोई में मौजूद होता है और इसकी खुशबू किसी भी डिश को लजीज बना देती है। इसकी चाय के सेवन से सेहत को भला चंगा रखा जा सकता है, हालांकि ज्यादा मात्रा में सेवन से बचें और समस्या होने पर डॉक्टर की सलाह लें।

--आईएएनएस

एमटी/वीसी