लाख कोशिश के बाद भी नहीं घट रहा वजन? मर्कटासन है समाधान
नई दिल्ली, 27 दिसंबर (आईएएनएस)। अनियमित दिनचर्या, गड़बड़ भोजन और तनाव... कई मानसिक और शारीरिक समस्याओं की वजह बन चुके हैं। वजन बढ़ना या मोटापा भी ऐसी ही एक समस्या है। ऐसे में योगपद्धति मर्कटासन के अभ्यास से न केवल वजन कंट्रोल होता है, बल्कि तन और मन की कई समस्याएं छूमंतर हो जाती हैं।
योग एक्सपर्ट बताते हैं कि आजकल की भागदौड़ भरी जिंदगी में वजन बढ़ना आम समस्या बन गई है। जिम जाना, डाइटिंग करना और तरह-तरह की एक्सरसाइज करने के बावजूद कई लोगों का वजन कम नहीं होता। ऐसे में मर्कटासन का अभ्यास एक प्रभावी तरीका है। मर्कटासन को दिनचर्या में शामिल कर वजन आसानी से नियंत्रित किया जा सकता है।
मोरारजी देसाई नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ योगा के अनुसार, मर्कटासन (बंदर आसन) का नियमित अभ्यास शरीर को कई लाभ देता है, खासकर वजन घटाने और चर्बी कम करने में। मर्कटासन संस्कृत में 'मर्कट' यानी बंदर से लिया गया नाम है। इस आसन में शरीर की मुद्रा बंदर जैसी हो जाती है, इसलिए इसे बंदर आसन भी कहते हैं। यह रीढ़ की हड्डी को मोड़कर लचीलापन बढ़ाता है। मर्कटासन का अभ्यास पेट, कमर और जांघों की चर्बी घटाने में बहुत उपयोगी है।
मर्कटासन के अभ्यास से कई लाभ मिलते हैं। इसके नियमित अभ्यास से स्पाइनल कॉलम मजबूत और फ्लेक्सिबल होती है, जिससे पीठ की विकृतियां दूर होती हैं। लंबे समय तक बैठे रहने से होने वाले कमर दर्द और बैक पेन में भी इसके अभ्यास से आराम मिलता है। यह आसन पेट के अंगों पर दबाव डालकर पाचन तंत्र को मजबूत बनाता है, जिससे कब्ज, गैस और अपच की समस्या कम होती है।
यह कमाल का आसन पेट और कमर की अतिरिक्त फैट कम करने में मदद करता है। मेटाबॉलिज्म बढ़ने से वजन नियंत्रित रहता है। साथ ही मानसिक तनाव कम होता है और नींद अच्छी आती है।
मर्कटासन अभ्यास के लिए जमीन पर पीठ के बल लेट जाएं। दोनों हाथों को कंधों के स्तर पर फैलाएं। दाहिने घुटने को मोड़कर बाएं हाथ की ओर ले जाएं, जबकि सिर को दाहिनी तरफ घुमाएं। कुछ सेकंड रुकें और सांस सामान्य रखें। फिर दूसरी तरफ दोहराएं। रोजाना 5 से 10 बार करें।
मर्कटासन न सिर्फ शारीरिक स्वास्थ्य सुधारता है, बल्कि मानसिक शांति भी देता है। इसे दिनचर्या में शामिल कर कई लाभ प्राप्त किए जा सकते हैं, लेकिन कोई गंभीर बीमारी हो तो डॉक्टर या योग प्रशिक्षक से सलाह लें।
--आईएएनएस
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