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बांग्लादेश में हिंदुओं से बर्बरता पर फूटा अयोध्या के संत समाज का गुस्सा, केंद्र से की हस्तक्षेप की अपील

 

अयोध्या, 26 दिसंबर (आईएएनएस)। बांग्लादेश में दीपू चंद्र दास की मॉब लिंचिंग का मामला गरमा गया है। इस घटना को लेकर अयोध्या के संत समाज ने भी तीखी प्रतिक्रिया दी है और हिंदुओं के खिलाफ बढ़ती घटनाओं पर रोक लगाने के लिए पीएम मोदी से हस्तक्षेप की मांग की है। संत समाज का कहना है कि बांग्लादेश में हिंदुओं को निशाना बनाया जा रहा है।

सीताराम योग सदन मंदिर के महामंडलेश्वर विष्णु दास जी महाराज ने बांग्लादेश में जारी हिंसा को अमानवीय बताया और कहा कि बांग्लादेश के जिहादी लोग हिंदुओं को ढूंढ-ढूंढकर अपना निशाना बना रहे हैं और ये पूरे हिंदू धर्म पर हमला है।

उन्होंने कहा कि पहले दीपू चंद्र दास को मारा और आग लगा दी, फिर एक और हिंदू शख्स को मारा और एक छोटी बच्ची को भी नहीं छोड़ा। वहां की सरकार जिहादियों की तरह काम करती है और बांग्लादेश को एक इस्लामिक राष्ट्र बनाना चाहती है।

उन्होंने आगे पीएम मोदी से हस्तक्षेप की मांग की और कहा कि इसका असर भारत पर देखने को भी मिलेगा। अब समय आ गया है कि सरकार को बांग्लादेश के बॉर्डर खोल देने चाहिए और वहां फंसे हिंदुओं को बचाना चाहिए। जैसे पाकिस्तान को सबक सिखाने के लिए 'ऑपरेशन सिंदूर' चलाया गया था, वैसे ही बांग्लादेश के कट्टरपंथियों को सबक सिखाने के लिए ऑपरेशन चलाना चाहिए।

अयोध्याधाम के साकेत भवन मंदिर के सीताराम दास जी महाराज ने भी अपील की है कि केंद्र सरकार सेना और सशस्त्र बल का सहारा लेकर हिंदुओं को बचाए। उन्होंने कहा कि बांग्लादेश में इंसानियत नहीं बची है और मैं पीएम से निवेदन करता हूं कि राफेल, तेजस और ब्रह्मोस क्या कर रहे हैं? अभी तक भारत में बांग्लादेश को मिला लेना चाहिए था और कड़ा सबक सिखाना चाहिए।

बता दें कि बांग्लादेश में दीपू चंद्र दास को भीड़ ने पीटा और फिर पेड़ से बांधकर आग लगा दी। इस घटना के सात दिन बाद एक अन्य हिंदू युवक को भी भीड़ ने मार डाला। 29 साल के अमृत मंडल उर्फ सम्राट को गांव की भीड़ ने मौत के घाट उतार दिया।

--आईएएनएस

पीएस/एबीएम