भारत ने 2025 में रिकॉर्ड 44.5 गीगावाट रिन्यूएबल एनर्जी क्षमता जोड़ी : केंद्र
नई दिल्ली, 29 दिसंबर (आईएएनएस)। भारत ने 2025 में (नवंबर तक) अब तक सबसे अधिक 44.51 गीगावाट रिन्यूएबल एनर्जी क्षमता जोड़ी है, जो कि पिछले साल की समान अवधि में जोड़ी गई 24.72 गीगावाट की क्षमता से काफी अधिक है। यह जानकारी केंद्र सरकार की ओर से सोमवार को दी गई।
केंद्र सरकार ने कहा कि देश में स्थापित कुल रिन्यूएबल एनर्जी क्षमता नवंबर 2025 में 253.96 गीगावाट थी, जो कि पिछले साल नवंबर 2024 में स्थापित 205.52 गीगावाट क्षमता के मुकाबले करीब 23 प्रतिशत ज्यादा है।
देश ने समीक्षा अवधि में 34.98 गीगावाट रिन्यूएबल एनर्जी क्षमता जोड़ी है। यह आंकड़ा पिछले साल की समान अवधि में 20.85 गीगावाट था।
नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय ने कहा कि देश में जनवरी 2025 में स्थापित सोलर एनर्जी क्षमता के आंकड़े ने 100 गीगावाट का आंकड़ा पार किया था। नवंबर 2025 तक स्थापित सोलर एनर्जी क्षमता बढ़कर 132.85 गीगावाट हो गई है। इसमें पिछले साल की समान अवधि के मुकाबले 41 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है।
नवंबर 2024 में देश में स्थापित सोलर एनर्जी क्षमता 94.17 गीगावाट थी।
विंड एनर्जी क्षमता में भी काफी बढ़ोतरी हुई है, पिछले साल इसी अवधि के 3.2 गीगावाट की तुलना में 5.82 गीगावाट की क्षमता जोड़ी गई है।
विंड एनर्जी की स्थापित क्षमता मार्च 2025 में 50 गीगावाट का आंकड़ा पार कर गई थी। नवंबर 2025 में विंड एनर्जी की स्थापित क्षमता 53.99 गीगावाट तक पहुंच गई है, जो नवंबर 2024 के 47.96 गीगावाट की तुलना में 12.5 प्रतिशत से अधिक की बढ़ोतरी है।
सीओपी-26 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विजन के अनुसार, सरकार 2030 तक 500 गीगावाट गैर-जीवाश्म ऊर्जा क्षमता तक पहुंचने के लिए काम कर रही है।
भारत में जून 2025 में गैर-जीवाश्म ऊर्जा क्षमता की हिस्सेदारी कुल स्थापित ऊर्जा क्षमता में 50 प्रतिशत हो गई थी, जो पेरिस समझौते के तहत अपने नेशनल डिटरमाइंड कंट्रीब्यूशन (एनडीसी) के तहत तय 2030 के लक्ष्य से पांच साल पहले है।
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