जोधपुर एयरबेस पर तैनात हुए अपाचे अटैक हेलिकॉप्टर, फुटेज में जानें पश्चिमी सीमा की सुरक्षा में अब सेंध लगाने वालों के बनेंगे काल
भारतीय सेना ने अपनी आक्रामक और रक्षात्मक क्षमताओं को और मजबूत करते हुए दुनिया के सबसे घातक अटैक हेलिकॉप्टरों में शामिल अपाचे (Apache) अटैक हेलिकॉप्टरों को राजस्थान के जोधपुर एयरबेस पर तैनात कर दिया है। इन हेलिकॉप्टरों की तैनाती से पाकिस्तान सीमा की निगरानी और सुरक्षा व्यवस्था को नई ताकत मिली है। सेना के रणनीतिक लिहाज से यह कदम पश्चिमी सीमा पर भारत की सैन्य तैयारियों को और धारदार बनाता है।
अपाचे अटैक हेलिकॉप्टर अत्याधुनिक तकनीक से लैस हैं। ये एक समय में 256 लक्ष्यों को ट्रैक करने की क्षमता रखते हैं और उनमें से 16 लक्ष्यों को प्राथमिकता के आधार पर चुनकर हमला कर सकते हैं। हवा से जमीन पर सटीक वार करने की इनकी क्षमता इन्हें बेहद घातक बनाती है। आधुनिक सेंसर, रडार और हथियार प्रणालियों से लैस अपाचे हेलिकॉप्टर रात और खराब मौसम में भी प्रभावी तरीके से ऑपरेशन करने में सक्षम हैं।
हाल ही में राजस्थान के जैसलमेर क्षेत्र में आयोजित सैन्य अभ्यास ‘त्रिशूल’ और ‘मरु ज्वाला’ में इन अपाचे हेलिकॉप्टरों का उपयोग किया गया था। इन अभ्यासों के दौरान हेलिकॉप्टरों ने निर्धारित लक्ष्यों पर बेहद सटीक और प्रभावशाली हमले किए, जिससे उनकी मारक क्षमता और ऑपरेशनल दक्षता का प्रदर्शन हुआ। अभ्यास पूरा होने के बाद अब इन्हें पश्चिमी सीमा के पास स्थित एक महत्वपूर्ण एयरबेस, जोधपुर, पर स्थायी रूप से तैनात किया गया है।
सेना के सूत्रों के अनुसार, यह पहली बार है जब भारतीय थल सेना के अपाचे अटैक हेलिकॉप्टरों ने किसी बड़े सैन्य अभ्यास में सक्रिय रूप से हिस्सा लिया। इन अभ्यासों का उद्देश्य आधुनिक युद्ध परिस्थितियों में सेना की तैयारियों को परखना और नई तकनीक को जमीनी स्तर पर लागू करना था। अपाचे हेलिकॉप्टरों की भूमिका ने अभ्यास को और अधिक प्रभावी बनाया।
गौरतलब है कि जून 2025 में भारत को अमेरिका से अपाचे अटैक हेलिकॉप्टरों की पहली खेप प्राप्त हुई थी, जिसमें तीन हेलिकॉप्टर शामिल थे। इन हेलिकॉप्टरों के लिए भारतीय सेना के पायलटों और तकनीकी कर्मियों की ट्रेनिंग अब पूरी हो चुकी है। ट्रेनिंग पूरी होने के साथ ही ये हेलिकॉप्टर पूरी तरह ऑपरेशनल ड्यूटी के लिए तैयार हो गए हैं।