नरेश मीणा के समर्थन में बेनीवाल ने भजनलाल सरकार पर बोला हमला, अस्पताल में नेताओं से मुलाकात का वीडियो आया सामने
राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी (RLP) के अध्यक्ष और नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल शुक्रवार को राजधानी जयपुर के सवाई मानसिंह अस्पताल पहुंचे। उन्होंने यहां पूर्व मंत्री भरत सिंह और युवा नेता नरेश मीणा से मुलाकात की और उनकी तबीयत के बारे में जानकारी ली।
नेताओं से मुलाकात और स्वास्थ्य जानकारी
बेनीवाल ने अस्पताल में दोनों नेताओं के पास जाकर हालचाल जाना और उनके स्वास्थ्य को लेकर बातचीत की। बताया गया कि पूर्व मंत्री भरत सिंह और युवा नेता नरेश मीणा की सेहत अब स्थिर है। सांसद ने उनके शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की और मीडिया के सामने अस्पताल परिसर में संवाद किया।
मीडिया से बातचीत में सरकार पर हमला
मीडिया से बातचीत के दौरान हनुमान बेनीवाल ने राज्य सरकार पर तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि झालावाड़ स्कूल त्रासदी में दिवंगत हुए बच्चों के परिजनों को अभी तक न्याय नहीं मिल पाया है। सांसद ने बताया कि यह एक संवेदनशील मुद्दा है, लेकिन सरकार द्वारा इसे नजरअंदाज किया जा रहा है।
बेनीवाल ने आगे कहा कि इसी मुद्दे और कई अन्य जनहित की मांगों को लेकर युवा नेता नरेश मीणा लगातार आंदोलनरत हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार उनकी आवाज को सुनने के बजाय केवल हठधर्मिता दिखा रही है। सांसद ने कहा कि लोकतंत्र में जनहित के मुद्दों पर चुप रहना और जन प्रतिनिधियों की बात न सुनना अनुचित है।
जनहित और आगामी रणनीति
हनुमान बेनीवाल ने कहा कि पार्टी और उनके नेता हमेशा जनहित की लड़ाई लड़ेंगे। उन्होंने सरकार से अपील की कि वह झालावाड़ स्कूल त्रासदी के परिजनों के न्याय और अन्य जनहित की मांगों पर जल्द कार्रवाई करे।
उन्होंने यह भी संकेत दिया कि आगामी समय में यदि सरकार इस मुद्दे पर सकारात्मक कदम नहीं उठाती है, तो पार्टी और आंदोलन को और व्यापक रूप देने के लिए रणनीति बनाई जा सकती है।
राजनीतिक हलकों में चर्चा
बेनीवाल का यह बयान और अस्पताल में नेताओं से मुलाकात राजनीतिक हलकों में चर्चा का विषय बनी हुई है। विशेषज्ञों का कहना है कि RLP द्वारा उठाए जा रहे मुद्दे न केवल संवेदनशील हैं, बल्कि सरकार पर दबाव बनाने की रणनीति का हिस्सा भी माने जा सकते हैं।
जनता और सोशल मीडिया की प्रतिक्रिया
सोशल मीडिया पर बेनीवाल के बयान को लेकर लोगों ने मिश्रित प्रतिक्रिया दी है। कुछ लोगों ने उनके प्रयासों की सराहना की, वहीं कुछ ने सवाल उठाया कि सरकार पर आरोप लगाने के बजाय क्या समाधान की पहल की जा रही है।